अमेरिका और दक्षिण कोरिया में हुई बड़ी डील, ट्रंप ने परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने की दी मंजूरी

अमेरिका और दक्षिण कोरिया में हुई बड़ी डील, ट्रंप ने परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने की दी मंजूरी
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने न्यूक्लियर टेस्टिंग को लेकर बयान देकर एक नए मुद्दे पर चर्चा छेड़ दी है। वहीं गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दक्षिण कोरिया की परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बी बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी।

ग्योंगजू, 30 अक्टूबर (आईएएनएस)। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने न्यूक्लियर टेस्टिंग को लेकर बयान देकर एक नए मुद्दे पर चर्चा छेड़ दी है। वहीं गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दक्षिण कोरिया की परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बी बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी।

ट्रंप के इस फैसले का दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति कार्यालय ने स्वागत किया और पूरी प्रक्रिया में अमेरिका के साथ निकट सहयोग करने का संकल्प लिया।

ट्रंप ने गुरुवार को सोशल मीडिया पर लिखा कि उन्होंने दक्षिण कोरिया को परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने की मंजूरी दे दी है। उन्होंने आगे कहा कि यह पनडुब्बी फिलाडेल्फिया के शिपयार्ड में बनाई जाएगी।

राष्ट्रपति ली जे म्युंग ने ट्रंप से दक्षिण कोरिया को परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने के लिए परमाणु ईंधन उपलब्ध कराने का आग्रह किया था। इसके एक दिन बाद ट्रंप की तरफ से इसे मंजूरी दी गई।

राष्ट्रपति के प्रवक्ता किम नाम-जुन ने एक प्रेस वार्ता में कहा, "हमारी सरकार राष्ट्रपति ट्रंप के इस फैसले का स्वागत करती है। यह फैसला हमारी रक्षा क्षमताओं और कोरिया गणराज्य की रक्षा में हमारी सेना की भूमिका को और मजबूत करने में मदद करेगा।"

योनहाप न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, किम ने आगे कहा कि दक्षिण कोरिया आवश्यक उपायों के साथ आगे बढ़ने के लिए अमेरिका के साथ मिलकर काम करेगा।

ट्रंप ने लिखा, "मैंने उन्हें पुराने जमाने की डीजल से चलने वाली पनडुब्बियों के बजाय, परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने की मंजूरी दे दी है। यह मंजूरी इस आधार पर दी गई है कि अमेरिका-दक्षिण कोरिया सैन्य गठबंधन पहले से कहीं ज्यादा मजबूत है।"

ट्रंप ने यह भी कहा कि दक्षिण कोरिया अपनी परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी का निर्माण अमेरिका के पेंसिल्वेनिया स्थित फिलाडेल्फिया शिपयार्ड में करेगा।

ट्रंप की तरफ से मंजूरी मिलने से पहले नौसेना संचालन प्रमुख एडमिरल कांग डोंग-गिल ने संसदीय ऑडिट सत्र में सांसदों को बताया था, "अगर कोई फैसला हो भी जाता है, तो इसमें लगभग 10 साल लगेंगे। देश की चांगबोगो-III बैच-III श्रेणी की पनडुब्बी परियोजना के तहत परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी बनाने का फैसला अभी तक नहीं हुआ है।"

उन्नत डीजल-इलेक्ट्रिक हमलावर पनडुब्बियों को हासिल करने के लिए सेना के चांगबोगो-III या केएसएस-III कार्यक्रम के तहत, दक्षिण कोरिया ने 3,000 टन की तीन पनडुब्बियों को सक्रिय ड्यूटी पर तैनात किया है। योनहाप न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, दक्षिण कोरिया ने पिछले हफ्ते अपनी पहली 3,600 टन की नौसैनिक पनडुब्बी लॉन्च की।

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Created On :   30 Oct 2025 4:00 PM IST

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