"महान' का लक्ष्य : आदिवासी रहें स्वस्थ 

Goal of Mahan: Tribals should be healthy
"महान' का लक्ष्य : आदिवासी रहें स्वस्थ 
नागपुर "महान' का लक्ष्य : आदिवासी रहें स्वस्थ 

डिजिटल डेस्क, नागपुर । डॉ. आशीष व डॉ. कविता सातव दंपति द्वारा मेलघाट में आदिवासियों की सेवा के लिए स्थापित महान ट्रस्ट को 25 साल पूरे हो चुके हैं। इस अवसर पर 19 मार्च को सुबह 11 बजे परसिस्टंट सभागृह में कार्यक्रम आयोजित किया गया है। कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ. विकास आमटे करेंगे। प्रमुख अतिथि के रूप में सीडीसी के सलाहकार, विश्व स्वास्थ्य संगठन व बिल गेट फाउंडेशन के पूर्व सलाहकार डॉ. नितीन वैरागकर, आईएएस प्रवीण कुमार परदेशी और विशेष अतिथि के रूप में रमेशभाई कचोलिया उपस्थित रहेंगे। डॉ. सातव दंपत्ति ने मेलघाट के दुर्गम क्षेत्र धारणी से 100 किलोमीटर की दूरी पर उतावली गांव में एक झोपड़ी में छोटा सा दवाखाना शुरू किया था। 1998 में महान ट्रस्ट की स्थापना की।

डॉ. आशीष ने एमबीबीएस व एमडी होने के बाद मेलघाट के आदिवासियों की सेवा करने का संकल्प लिया। उनकी पत्नी कविता ने एमबीबीएस एमएस के बाद अपने पति के संकल्प को पूरा करने में साथ दिया। ट्रस्ट के माध्यम से कुपोषण, बाल मृत्यु, गर्भवती महिलाओं की मृत्यु पर रोक लगाने के लिए विविध स्तर पर कार्यक्रम शुरू किये गए। जांच से लेकर उपचार तक की सुविधाएं उपलब्ध करा दी गई। परिणामस्वरुप सकारात्मक बदलाव हुआ है। व्यसनमुक्ति पर मार्गदर्शन के कारण व्यसन से मृत्यु की संख्या घटी है। ग्रामीणों को विविध मार्गदर्शन के माध्यम से रोजगार के अवसर उपलब्ध करा दिये। ग्रामीण क्षेत्रों की महिलाओं को विशेष प्रशिक्षण देकर प्राथमिक स्वास्थ्य सेवा देने के लिए तैयार किया गया। इससे कुपोषण व बाल मृत्यु का प्रमाण 68 फीसदी कम हो चुका है। नागपुर के नामी शल्य चिकित्सक नि:शुल्क सेवा देते हैं। उतावली के अस्पताल में मरीजों के लिए सभी तरह की स्वास्थ्य सेवाएं निशुल्क उपलब्ध है। महान की सर्वे रिपोर्ट के आधार पर राज्य सरकार ने 25 तरह की नीतियों में बदलाव किये जाने से 10 लाख से अधिक आदिवासियों को लाभ मिला है। महान द्वारा आदिवासी क्षेत्र में चिकित्सा महाविद्यालय शुरू करने के लिए प्रयास किया जा रहा है। ऐसा डॉ. सातव ने विज्ञप्ति में बताया है। 

Created On :   19 March 2023 11:29 AM IST

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