सुशांत केस : सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद विपक्ष का सरकार पर हमला, कहा- इस्तीफा दें देशमुख

Sushant case: Opposition attack on government after Supreme Court verdict, said- Deshmukh should resign
सुशांत केस : सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद विपक्ष का सरकार पर हमला, कहा- इस्तीफा दें देशमुख
सुशांत केस : सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद विपक्ष का सरकार पर हमला, कहा- इस्तीफा दें देशमुख

डिजिटल डेस्क, मुंबई।   सुप्रीम कोर्ट द्वारा अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत मौत मामले की जांच सीबीआई को सौंपने के आदेश के बाद प्रदेश में विपक्षी दल भाजपा महाविकास आघाड़ी सरकार पर हमलावर हो गया है जबकि सरकार बचाव की भूमिका में नजर आ रही है। सत्ताधारी दल के नेताओं ने सधी ही प्रतिक्रिया दी है। भाजपा ने प्रदेश के गृहमंत्री अनिल देशमुख के इस्तीफे और मुंबई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह को निलंबित करने की मांग की है।  

सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद बुधवार को विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद महाराष्ट्र सरकार को आत्मचिंतन करना चाहिए। हम अपेक्षा करते हैं कि सीबीआई जल्द से जल्द सुशांत मौत मामले की जांच शुरु करेगी और सुशांत के करोड़ों चाहने वालों को न्याय मिलेगा। फडणवीस ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से लोगों का न्याय व्यवस्था पर विश्वास बढ़ेगा। भाजपा विधायक अतुल भातखलकर ने कहा कि प्रदेश के गृह मंत्री देशमुख को तत्काल इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने कहा कि मुंबई पुलिस आयुक्त सिंह और सुशांत मामले की जांच कर रहे बांद्रा जोन के पुलिस उपायुक्त अभिषेक त्रिमुखे को तत्काल निलंबित करने के लिए मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे केंद्र सरकार से सिफारिश करें। भातखलकर ने कहा कि सीबीआई को इस मामले में राजनीतिक दबाव के पहलू की भी जांच करनी चाहिए।  

प्रदेश भाजपा प्रवक्ता राम कदम ने कहा कि प्रदेश सरकार अपने अहंकार के कारण अडिग रही। सरकार ने मुंबई पुलिस को ठीक से काम करने नहीं दिया। सरकार ने मुंबई पुलिस के काम में दखलंदाजी की। सरकार का रवैया कुछ बड़े लोगों को बचाने का रहा है। भाजपा के पूर्व सांसद किरीट सोमैया ने कहा कि राज्य के गृह मंत्री देशमुख को तत्काल इस्तीफा देना चाहिए। सोमैया ने कहा कि मुंबई पुलिस आयुक्त सिंह को इस मामले में दो महीने में मामला दर्ज न करना दुर्भाग्यपूर्ण है। वे भी सवालों के घेरे में हैं। भाजपा विधायक आशिष शेलार ने कहा कि राज्य सरकार इस मामले में किसी को बचाने की कोशिश कर रही थी।

सुप्रीम कोर्ट से फैसले की प्रति मिलने का इंतजारः देशमुख
वहीं प्रदेश के गृह मंत्री देशमुख ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले की कॉपी मिलने के बाद हम उस पर अध्ययन करेंगे। इसके बाद मैं अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करूंगा। 

सोच समझ कर बोले विपक्षी नेताः संजय राऊत 
शिवसेना सांसद संजय राऊत ने कहा कि यदि इस्तीफे की बात निकलेगी तो दिल्ली तक जाएगी। इसलिए राज्य में विपक्ष के नेताओं को सोच समझकर टिप्पणी करनी चाहिए। प्रदेश की बदनामी करना ठीक नहीं है। राऊत ने कहा कि अदालत के फैसले की कॉपी मिलने के बाद इस बारे में सरकार के प्रवक्ता बात करेंगे। इस मामले में मुंबई पुलिस आयुक्त सिंह बात कर सकते हैं। शीर्ष अदालत के फैसले के बाद मेरा बात करना उचित नहीं है। राऊत ने कहा कि मुंबई पुलिस की जांच पर सवाल खड़ा करना एक षड्यंत्र है। मुंबई पुलिस ने अपनी जांच ईमानदारी से की है। मुंबई पुलिस को यदि अपने प्रदेश के राजनेता बदनाम करेंगे तो इससे पुलिस का मनोबल टूटेगा। राऊत ने कहा कि प्रदेश में कानून का राज है। यहां पर सत्य और न्याय की जीत हमेशा होती है। सभी को कानून के अनुसार अपना अधिकार मिलना चाहिए। यह सरकार की परंपरा रही है। एक सवाल के जवाब में राऊत ने कहा कि इस मामले में राज्य सरकार की हार नहीं हुई है। ऐसे कानूनी मामलों में इस तरह के फैसले आते रहते हैं। यदि कोई तय कर लिया है कि इसी प्रकार की भूमिका अपनानी है तो उसके लिए राज्य सरकार क्या कर सकती है। 
 
नरम नहीं पड़े पार्थ के तेवर, कहा-सत्यमेव जयते 
राकांपा अध्यक्ष शरद पवार द्वारा सार्वजनिक रूप से फटकारे जाने के बाद भी प्रदेश के उपमुख्यमंत्री अजित पवार के बेटे  पार्थ के तेवर नरम नहीं पड़े हैं। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद पार्थ ने ट्वीट कर कहा कि "सत्यमेव जयते’। पार्थ की यह भूमिका अपनी पार्टी से अलग है।  इससे पहले पार्थ ने राज्य के गृह मंत्री देशमुख को पत्र लिखकर सुशांत मौत मामले की सीबीआई जांच कराने की मांग की थी। पार्थ की भूमिका पार्टी और महाराषट्र सरकार की लाइन से अलग थी। जिसके बाद शरद पवार ने पार्थ को अपरिपक्व करार दिया था। पवार ने कहा था कि हम पार्थ की मांग को कौड़ी भर कीमत नहीं देते हैं।

हालांकि पवार ने यह भी कहा था कि यदि कोई सीबीआई जांच की मांग करता है तो उसके लिए हमारा विरोध नहीं रहेगा। पवार के अपरिपक्व कहने के बाद से ही पार्थ नाराज थे लेकिन उन्होंने मीडिया में कोई बयान नहीं दिया था। लेकिन बुधवार को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद उन्होने इस पर खुशी जातते हुए ट्विट किया "सत्यमेव जयते’। पार्थ के रूख से साफ है कि उन पर पवार की डांट का असर नहीं हुआ है।  

 

              

    

 

Created On :   19 Aug 2020 12:26 PM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story