NGT की टीम ने रेत खदानों का किया निरीक्षण, नियमों के उल्लंघन की थी शिकायत

NGT की टीम ने रेत खदानों का किया निरीक्षण, नियमों के उल्लंघन की थी शिकायत

Bhaskar Hindi
Update: 2018-01-30 07:51 GMT
NGT की टीम ने रेत खदानों का किया निरीक्षण, नियमों के उल्लंघन की थी शिकायत

डिजिटल डेस्क कटनी । अवैध रेत खनन के मामले में सोमवार को भोपाल से आई एनजीटी की टीम ने संयुक्त रूप से खदानों का परीक्षण किया। परीक्षण के दौरान एनजीटी के नियमों के उल्लंघन का मामला प्रकाश में आया है। देर शाम तक टीम विजयराघवगढ़ में टीम जांच में जुटी रही। अफसरों ने नियमों के उल्लघंन की पुष्टि करते हुए कहा सही आकड़ा मूल्यांकन के बाद ही बताया जा सकता है।
रीवर वेड्स पर खनन का आरोप
 जानकारी के मुताबिक विजयराघवगढ़ क्षेत्र में आवंटित खदानों में नियमों को ताक पर रखकर रेत खनन की शिकायत पर एनजीटी की टीम ने स्टेट माइनिंग कारपोरेशन, खनिज विभाग, प्रदूषण विभाग और सिंचाई विभाग के आला अफसरों के साथ खदानों का परीक्षण किया। गौरतलब हो कि ग्रामीणों ने घुघरी, घुन्नौर, बरूआ और बहिरघटा खदान एनजीटी के नियमों का उल्लघंन का आरोप लगाते हुए शासन स्तर पर शिकायत की थी। ग्रामीणों का कहना है कि कलेक्टर, खनिज विभाग सहित अन्य अफसरों से शिकायत की गई थी। कार्रवाई न होने पर शासन और एनजीटी में अवैध खनन की शिकायत की गई।  
अन्य खदानों पर भी नजर
गौरतलब हो कि अवैध खनन के एक मामले में खनिज विभाग ने 15 करोड़ रुपए के जुर्माने का प्रस्ताव कलेक्टर न्यायालय में भेजा है। शासन को भेजी रिपोर्ट में कटनी जिले में अवैध खनन पर स्थानीय नेताओं का हाथ बताया गया है। निर्वतमान में 16 खदानों से रेत निकासी की जा रही है। साथ में अन्य रसूखदार और सत्ताधारी दल के नेताओं की मिलीभगत से बगैर आवंटन के भी रेत निकासी की जा रही है। शासन के निर्देश पर खनिज विभाग के साथ अन्य टीम अवैध खनन की जांच कर रही है। जल्द ही संयुक्त टीम अन्य खदानों का भी परीक्षण करेंगी। टीम में स्टेट इनवायरमेंट एप्राइजल कमेटी (एसईएसी) के वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी डॉ.अभय सक्सेना, आरआरएल के डिप्टी डायरेक्टर पी.श्रीवास्तव एवं अकरम खान ने घुन्नौर के सरपंच की शिकायत पर फेयर एंड ब्लैक कंपनी के खदानों का परीक्षण किया।
जीव जंतुओं के जीवन पर संकट
रीवर वेड्स पर हो रहे खनन के कारण जलीय जीव जंतुओं के जीवन पर संकट मंडरा रहा है। नियम में साफ लिखा है कि नदी के मुहाने और जल के भीतर किसी भी तरह से मशीन से निकासी न की जाए। जबकि जिले में एक-दो खदानोंं को छोड़ दिया जाए सभी स्थानों पर मशीनों से रेत की निकासी हो रही है। जानकारों का कहना है कि अंधाधुंध खनन के कारण पर्यावरण पर भी बुरा असर पड़ रहा है। संयुक्त टीम में एनजीटी के साथ खनिज विभाग की उप संचालक दीपमाला तिवारी, हेमंत कुमार तिवारी निदेशक प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड एवं सिंचाई विभाग की टीम शामिल थी।
इनका कहना है
भोपाल से आई एनजीटी की पांच सदस्यीय टीम ने रीवर वेड्स का परीक्षण किया। रेत निकासी स्वीकृति एरिया में की गई है। प्रतिवेदन तैयार किया जा रहा है, रिपोर्ट आने के बाद ही कुछ कह पाना संभव है।
- एस के दुबे, महाप्रबंधक, स्टेट माइनिंग कारपोरेशन
ग्रामीणों की शिकायत पर एनजीटी की टीम ने संयुक्त रूप से घुन्नौर, बहिरघटा, बरूआ रेत खदानों का निरीक्षण किया। टीम भोपाल में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी।  
- दीपमाला तिवारी, उप संचालक खनिज

 

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