सेंपल देने के लिए भी शुरु हुआ भटकाव - लगातार बढ़ रहे कोरोना को लेकर व्यवस्थाएं साबित हो रहीं बौनी

सेंपल देने के लिए भी शुरु हुआ भटकाव - लगातार बढ़ रहे कोरोना को लेकर व्यवस्थाएं साबित हो रहीं बौनी

Bhaskar Hindi
Update: 2020-09-16 12:50 GMT
सेंपल देने के लिए भी शुरु हुआ भटकाव - लगातार बढ़ रहे कोरोना को लेकर व्यवस्थाएं साबित हो रहीं बौनी

डिजिटल डेस्क शहडोल । जिले में कोरोना का संक्रमण लगातार बढ़ता ही जा रहा है। डॉक्टर्स और स्टाफ तक इसकी चपेट में आते जा रहे हैं। जिले के मेडिकल कॉलेज में मरीजों के उपचार की व्यवस्था भी गड़बड़ाने लगी है। अब तो लोगों को सेंपल देने के लिए भी भटकना पड़ रहा है। मेडिकल कॉलेज के कोविड सेंटर में आज की स्थिति में 47 क्रिटिकल मरीज भर्ती हैं, जबकि क्षमता 32 की है। ऐसी स्थिति में अलग से उनका इलाज किया जा रहा है। शासन के निर्देशानुसार फीवर क्लीनिक में सेंपल लेने की व्यवस्था कराई गई है लेकिन मेडिकल कॉलेज जो मुख्यालय का कोविड सेंटर है, वहां सेंपल की संख्या निर्धारित कर दी गई है। एक नागरिक ने बताया कि वह आज सेंपल देने गया था, जहां से बोला गया कि जितने सेंपल आज लेने थे ले लिए, आप होम आइसोलेट हो जाइए। शहडोल जिले में अब तक कोरोना के 1134 मरीज सामने आ चुके हैं। एक्टिव मरीजों की संख्या 452 है। कोरोना संक्रमित 14 मरीजों की मौत भी हो चुकी है। इसके अलावा 644 मरीज स्वस्थ होकर घर लौट चुके हैं। करीब 418 मरीज होम आइसोलेशन में हैं।
गंभीर मरीज ही होंगे मेडिकल में भर्ती
मरीजों की लगातार बढ़ती संख्या को देखते हुए कोविड सेंटर मेडिकल कॉलेज में उपचार में आ रही परेशानी को देखते हुए नए आदेश जारी हुए हैं। कमिश्नर नरेश पाल निर्देश दिए हंै कि कोरोना पीडि़त अति गंभीर मरीजों को ही डेडिकेटेड कोविड अस्पताल शासकीय चिकित्सा महाविद्यलाय शहडोल में भर्ती कराएं। अन्य साधारण मरीजों का इलाज जिला चिकित्सालयों के कोविड़ सेंटर में ही किया जाना सुनिश्चित करें। उन्होंने निर्देश दिए है कि कोविड-19 के मरीजों की बढ़ती हुई संख्या को दृष्टिगत रखते हुए संभाग के विभिन्न प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रो एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रो में पदस्थ चिकित्सकों, पैरामेडिकल स्टाफ एवं अन्य स्टाफ  का प्रशिक्षण कोविड़-19 के उपचार के लिए दिया जाएं। कमिश्नर ने मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी शहडोल को भी निर्देशित किया है कि कोविड़-19 के उपचार में आवश्यक दवाईयां एवं अन्य उपकरणों एवं सामग्री की उपलब्धता निकट भविष्य के लिए सुनिश्चित कराएं। 
क्षमता बढ़ाने चल रहे प्रयास
मेडिकल कॉलेज में उपचार की व्यवस्था को सुचारू बनाने के लिए ही अन्य सेंटरों में व्यवस्था की जा रही है। मेडिकल कॉलेज मेें 241 बेडों की व्यवस्था और करीब 150 से अधिक मरीज भर्ती हैं। सीएमएचओ डॉ. राजेश पाण्डेय ने बताया कि जिला चिकित्सालय में पृथक से 10 बेडों वाला आईसीयू की व्यवस्था की जा रही है। यहां से दो चिकित्सकों तथा दो स्टाफ नर्स को कोविड ट्रेनिंग के लिए चिरायु अस्पताल भोपाल भेजा जा रहा है। उन्होंने बताया कि जिस प्रकार से मरीजों की संख्या बढ़ रही है उसको देखते हुए प्रत्येक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में व्यवस्थाएं बनाई गई हेैं।
ये सावधानियां रखना जरूरी
कोरोना संक्रमण से बचने की जिम्मेदारी लोगों को स्वयं समझना होगा। डॉ. राजेश मिश्रा का कहना है कि सामाजिक दूरी बनाते हुए मॉस्क और सीनेटाइजर का उपयोग अनिवार्य रूप से करें। अनावश्यक रूप से घर से बाहर न निकलें। यदि किसी प्रकार तकलीफ महसूस होती है डॉक्टर की सलाह लें और सेंपल जांच कराएं।
इनका कहना है
कोविड सेंटर जिले में बने हुए हैं। क्रिटिकल मरीजों का प्रॉपर इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज में व्यवस्था है। मरीजों की बेहतर देखभाल के लिए तीनों जिलों में व्यवस्था बनाई गई है। ऑक्सीजन की पर्याप्त आपूर्ति के लिए प्रयास सफल हो रहे हैं।
नरेश पाल, कमिश्नर शहडोल
 

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