उपभोक्ताओं को अच्छी गुणवत्ता का चावल प्रदाय सुनिश्चित किया जाए गुणवत्ता नियंत्रण पर सर्वाधिक ध्यान दें

उपभोक्ताओं को अच्छी गुणवत्ता का चावल प्रदाय सुनिश्चित किया जाए गुणवत्ता नियंत्रण पर सर्वाधिक ध्यान दें

Aditya Upadhyaya
Update: 2020-11-07 09:46 GMT
गड़चिरोली में जिला खनिज निधि का नहीं हो रहा कोई उपयाेग!

डिजिटल डेस्क, बैतूल। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि उचित मूल्य उपभोक्ताओं को अच्छी गुणवत्ता का चावल प्रदाय सुनिश्चित किए जाने के लिए यह जरूरी है कि मिलों को जिस गुणवत्ता का धान मिलिंग के लिए दिया जाता है, उसी गुणवत्ता का चावल उनसे प्राप्त किया जाए। गुणवत्ता नियंत्रण पर सर्वाधिक ध्यान दिया जाना चाहिए। कार्य में किसी भी प्रकार की गड़बड़ी करने वालों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निर्देश दिए कि मिलिंग कंट्रोल आर्डर में भी आवश्यक संशोधन किया जाए, जिससे मिल निर्धारित मात्रा में सरकारी धान की मिलिंग करने से इंकार न कर सकें। मण्डी परिसरों में राइस मिल स्थापित करने की संभावनाओं पर विचार कर तद्नुसार नीति बनाई जाए। मुख्यमंत्री श्री चौहान मंत्रालय में खरीफ वर्ष 2020-21 के उपार्जन कार्य, धान मिलिंग नीति आदि की समीक्षा कर रहे थे। इस अवसर पर मुख्य सचिव श्री इकबाल सिंह बैंस, कृषि उत्पादन आयुक्त श्री के.के. सिंह, प्रमुख सचिव श्री फैज अहमद किदवई, प्रमुख सचिव श्री अजीत केसरी, प्रबंध संचालक मार्कफेड श्री पी. नरहरि उपस्थित थे। उनको भी सजा हो जिनकी गुणवत्ता नियंत्रण की जिम्मेवारी थी मुख्य सचिव श्री बैंस ने बताया कि चावल की गुणवत्ता में गड़बड़ी करने वालों के विरूद्ध आर्थिक अपराध शाखा (ई.ओ.डब्लू.) द्वारा प्रकरण दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निर्देश दिए कि इस बार प्रदेश में कहीं भी थोड़ी सी भी गड़बड़ी नहीं होनी चाहिए। जिनकी गुणवत्ता नियंत्रण की जिम्मेवारी थी, उनको भी सजा होनी चाहिए। उपार्जन तिथियां ग्वालियर एवं चंबल संभागों में धान एवं मोटे अनाज (ज्वार, बाजार) की खरीदी प्रारंभ हो गई है, जो क्रमश: 5 जनवरी 2021 एवं 21 नवंबर 2020 तक चलेगी। शेष संभागों में धान की खरीदी 16 नवम्बर से 16 जनवरी तक तथा मोटे अनाज (ज्वार, बाजरा) की खरीदी 16 नवम्बर से 16 दिसम्बर तक चलेगी। 40 लाख मेट्रिक टन का संभावित लक्ष्य धान की खरीदी के लिए इस वर्ष 40 लाख मेट्रिक टन का संभावित लक्ष्य रखा गया है। गत वर्ष यह 25 लाख 80 हजार मेट्रिक टन था। इस बार धान का बोया गया रकबा 34.25 लाख हेक्टेयर है तथा पंजीकृत किसानों की संख्या 7 लाख 24 हजार है। धान के लिए 1702 उपार्जन केन्द्र समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन के लिए इस वर्ष 1702 खरीदी केन्द्र बनाए गए हैं। गत वर्ष इनकी संख्या 1129 थी। मोटे अनाज की खरीदी के लिए प्रदेश में 134 उपार्जन केन्द्र बनाए गए हैं। किसानों की सुविधा का पूरा ध्यान रखें मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निर्देश दिए कि समर्थन मूल्य खरीदी में किसानों की सुविधा का पूरा ध्यान रखा जाए। समय पर उनका अनाज खरीद जाए, 3 दिन में भुगतान हो जाएं तथा पर्याप्त बारदाने हों। साथ ही कोरोना के मद्देनजर खरीदी केन्द्रों पर सभी सावधानियां रखी जाए। बारदानों की कमी न रहे। परिवहन एवं भंडारण की अच्छी व्यवस्था हो मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निर्देश दिए कि खरीदे गए अनाज के त्वरित परिवहन एवं समुचित भंडारण की अच्छी व्यवस्था होनी चाहिए। प्रयास किए जाएं कि भंडारण के लिए कम से कम अस्थाई कैब बनाए जाएं। धान का समर्थन मूल्य 1868 खरीफ 2020-21 उपार्जन वर्ष में धान का समर्थन मूल्य 1868 रुपये, ज्वार का 2620 रुपए तथा बाजरे का 2150 रुपए प्रति क्विंटल निर्धारित किया गया है।

Similar News