5.8 प्रतिशत बिजली दर बढ़ाने की तैयारी में महावितरण
5.8 प्रतिशत बिजली दर बढ़ाने की तैयारी में महावितरण
डिजिटल डेस्क, नागपुर। बिजली के छोटे उपभोक्ताओं पर महावितरण बोझ डालने की तैयारी में है। हालांकि अभी प्रस्ताव ही दिया है। परंतु अगर यह प्रस्ताव इसी तरह लागू हो जाता है तो छोटे उपभोक्ताओं पर मार पड़नी तय है। खास बात यह है कि बड़े उपभोक्ताओं पर महावितरण मेहरबान दिख रहा है। स्पष्ट शब्दों में अगर कहें तो प्रस्ताव के मुताबिक 300 यूनिट से कम बिजली इस्तेमाल करनेवाले उपभोक्ताओं पर पांच-आठ फीसदी तक वृद्धि करने का प्रस्ताव है। इससे ज्यादा यूनिट इस्तेमाल करनेवालों के लिए किसी तरह की वृद्धि नहीं की गई है।
बड़े उपभोक्ताओं को लाभ : जिचकार
विद्युत क्षेत्र के जानकार महेंद्र जिचकार ने कहा कि बड़े उपभोक्ताआें को लाभ मिलेगा। छोटे उपभोक्ताआें के साथ अन्याय होगा। फिलहाल यहां का उपभोक्ता अन्य राज्यों की तुलना में ज्यादा बिजली की कीमत चुका रहा है। इस नए वृद्धि दर से हालात और बिगड़ेंगे।
300 यूनिट से ज्यादा बिजली का उपयोग करने वालों पर बिजली कंपनी मेहरबान
विद्युत नियामक आयोग ने मध्यावधि समीक्षा याचिका पर वित्तीय वर्ष 2018-19 आैर 2019-20 का विद्युत दर तय करते समय 20 हजार 651 करोड़ की हानि हुई थी। इसी दौरान दो साल के कार्यकाल में 8 हजार 268 करोड़ की वसूली की अनुमति देकर शेष 12 हजार 382 करोड़ की भविष्य में वसूली करने को मंजूरी दी गई थी। याचिका में कुल 10 साल वसूली का समावेश महावितरण की तरफ से किया गया है। महावितरण ने 2017 से 2024 -25 इस अवधि में संचित राजस्व हानि 60 हजार 313 करोड़ दिखाई है। हानि भरकर निकालने के लिए महावितरण ने कमी बिजली इस्तेमाल करनेवाले उपभोक्ताआें पर लोड डालने की तैयारी की है। महावितरण ने दावा किया है कि यह वृद्धि दर 2020-21 में भले ही 5.80 फीसदी है, लेकिन इसके बाद सामान्यत: तीन फीसदी ही रहेगी। महावितरण से "केवीएच" के अनुसार बिजली खरीदी की जाती है। लेकिन औद्योगिक, वाणिज्यिक उपभोक्ताआें को रियायत देते समय "केवीएएच" अनुसार रियायत प्रस्तावित है। इस पर विद्युत क्षेत्र के विशेषज्ञ आर. बी. गोयनका ने आपत्ति जताई है।
घरेलू उपभोक्ता वर्तमान व प्रस्तावित दर (अन्य शुल्क छोड़कर)
यूनिट वर्तमान प्रस्तावित दर (2020-21)
1-100 3.05 पैसे 3.30 पैसे
101-300 6.95 पैसे 7.30 पैसे
301-500 9.90 पैसे 9.90 पैसे
500 से ज्यादा 11.50 पैसे 11.50 पैसे