विदर्भ के 5 हजार 808 किसानों को मिली बिजली

विदर्भ के 5 हजार 808 किसानों को मिली बिजली

Anita Peddulwar
Update: 2019-08-02 09:41 GMT
विदर्भ के 5 हजार 808 किसानों को मिली बिजली

डिजिटल डेस्क,नागपुर। खेतों की सिंचाई के लिए निरंतर विद्युत आपूर्ति के उद्देश्य से महावितरण ने उच्चदाब विद्युत वितरण प्रणाली योजना शुरू की है। अब तक इस योजना अंतर्गत विदर्भ में 5 हजार 808 किसानों को कनेक्शन दिए जा चुके हैं। इसके लिए 3 हजार 17 किमी लंबी उच्चदाब वितरण लाइन लगाई गई है और करीब 8 हजार से अधिक  वितरण ट्रांसफार्मर लगाए जा चुके हैं। शेष कार्य शीघ्र पूरा करने के निर्देश दिए गए हैं। 

मार्च 2020 तक का लक्ष्य

उच्चदाब वितरण प्रणाली के माध्यम से कृषि पंप कनेक्शन देने की योजना को मार्च 2020 के अंत तक पूरा करने का लक्ष्य महावितरण ने रखा है। इसके लिए ठेका आदि के कार्य पूर्ण किए जा चुके हैं और कार्य तेजगति से चल रहा है। एक ट्रांसफर्मर पर 1 या 2 किसानों को कनेक्शन दिया जाएगा। इससे उन्हें गुणवत्तापूर्ण निरंतर विद्युत आपूर्ति हो सकेगी।  साथ ही ट्रांसफर्मर के खराब होने में कमी आएगी। 

विदर्भ में जिलावार कनेक्शन

अब तक नागपुर जिले में 688, अकोला जिले में 743, बुलढाणा में 716, वाशिम में 571, अमरावती में 544, यवतमाल में 846, चंद्रपुर में 291, गड़चि़रोली में 233, भंडारा 369, गोंदिया में 551 तथा वर्धा जिले में 256 कनेक्शन दिए गए हैं। 

एक कृषि पंप पर ढाई लाख का खर्च

मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने 2017 में नागपुर में आयोजित शीतकालीन अधिवेशन में घोषणा की थी कि जिन किसानों के विद्युत कनेक्शन पैसे भरने के बाद लंबित हैं, उन्हें उच्चदाब विद्युत वितरण प्रणाली के माध्यम से विद्युत कनेक्शन दिया जाएगा। मुख्यमंत्री की संकल्पना को ऊर्जामंत्री चंद्रशेखर बावनकुले व महावितरण के अध्यक्ष तथा प्रबंध निदेशक संजीव कुमार ने इस योजना को मूर्त दिया। उल्लेखनीय है कि एक कृषि पंप कनेक्शन पर करीब ढाई लाख रुपए खर्च आता है। पूरे राज्य में  उच्चदाब विद्युत वितरण प्रणाली पर 5 हजार 48 करोड़ रुपए खर्च होंगे। इससे अधिक खर्च आने वाले करीब  33 हजार किसानों को  मुख्यमंत्री सौर कृषि पंप योजना द्वारा विद्युत आपूर्ति की जाएगी।  इसके लिए 10 व 16 केवी के 1 लाख 30 हजार ट्रांसफार्मर लगाने की आवश्यकता होगी।  
 

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