छत्तीसगढ: खेती किसानी के मौसम को ध्यान में रखते हुए खाद बीज की रहे पर्याप्त उपलब्धता

  • फसल विविधीकरण अंतर्गत मक्का, लघुधान्य फसल रागी, कोदो, कुटकी जैसे फसलों को करे प्रोत्साहित
  • एजुकेशन हब के लिए विद्यार्थियों को चिन्हांकित करने के दिए निर्देश
  • सभी विभाग स्वप्रेरणा से संपर्क डिवाईज स्कूलों में देने के कार्य में दें अपना योगदान

Safal Upadhyay
Update: 2024-05-07 12:01 GMT

डिजिटल डेस्क,राजनांदगांव। कलेक्टर श्री संजय अग्रवाल ने आज कलेक्टोरेट सभाकक्ष में साप्ताहिक समय सीमा की बैठक ली। कलेक्टर ने कहा कि खेती किसानी की तैयारी प्रारंभ हो गई है। इसके लिए खाद, बीज की पर्याप्त उपलब्धता होना चाहिए।

उन्होंने कहा कि गर्मी के मौसम में भूमिगत जल के स्तर में कमी आती है। जिसे ध्यान में रखते हुए कम पानी की आवश्यकता वाले फसलों को लगाने के लिए किसानों को प्रोत्साहित करें। उन्होंने कहा कि किसानों को फसल विविधीकरण के लिए प्रोत्साहित करें।

इसके साथ ही खरीफ फसल में भी धान की खेती के बदले कम जल की आवश्यकता वाले फसल मक्का, लघु धान्य फसल, रागी, कोदो, कुटकी एवं दलहन, तिलहन की फसल लगाने के लिए कार्य योजना तैयार करने के निर्देश दिए।

इसके क्रियान्वयन के लिए बीज, उर्वरक, जैव उर्वरक, पौध संरक्षण औषधि एवं कृषि यंत्रों के संबंध में व्यवस्था करने के लिए कहा। कलेक्टर ने कहा कि जिले में एजुकेशन हब के अंतर्गत 100 से 150 बच्चों का चिन्हांकन करते हुए उनका प्रवेश दिलाना है।

जहां उन्हें आईआईटी, नीट सहित विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए कोचिंग दी जाएगी तथा आवासीय सुविधाएं उपलब्ध रहेंगी। एजुकेशन हब में 50 कमरे हैं। वहां विशेष तौर पर विद्यार्थियों को ध्यान में रखते हुए तैयारी करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि जिले में पहली से पांचवीं तक के बच्चों को प्राथमिक शाला में संपर्क डिवाईज के माध्यम से पढ़ाया जा रहा है।

जिसके अच्छे परिणाम मिल रहे हैं और बच्चों के सीखने की क्षमता में वृद्धि हो रही है। उन्होंने कहा कि सभी विभाग स्वप्रेरणा से संपर्क डिवाईज स्कूलों में देने के कार्य में अपना योगदान दें। इससे बच्चों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आएगा।

कलेक्टर श्री अग्रवाल ने कहा कि शहर एवं ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल की समस्या दूर करने के लिए जनपद सीईओ एवं अन्य अधिकारियों द्वारा अच्छा कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि शहर को व्यवस्थित करने पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए तथा योजनाबद्ध तरीके से कार्य करने के लिए कहा।

उन्होंने कहा कि जिले में बाल विवाह नहीं होना चाहिए। अक्ती तिहार को ध्यान में रखते हुए गांव में मुनादी कराते हुए बाल विवाह के दुष्परिणाम के बारे में जनसामान्य को अवगत कराएं। उन्होंने कहा कि बाल विवाह रोकने के लिए महिला एवं बाल विकास विभाग की टीम विशेष रूप से कार्य करें।

जिला पंचायत सीईओ सुश्री सुरूचि सिंह ने सभी विभागों से पेयजल, विद्युत, फसल विविधीकरण के संबंध में जानकारी ली। उन्होंने कहा कि सभी विभागों में विकास कार्य जारी रहे। इस अवसर पर वनमंडलाधिकारी श्री आयुष जैन, अपर कलेक्टर श्री सीएल मारकण्डेय, अपर कलेक्टर श्रीमती इंदिरा नवीन प्रताप सिंह तोमर, नगर निगम आयुक्त श्री अभिषेक गुप्ता, उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री खेमलाल वर्मा, एसडीएम राजनांदगांव श्री अरूण विश्वकर्मा, सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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