उज्जैन में अतिक्रमण हटाने का वीडियो, गलत दावे के साथ किया जा रहा है वायरल

Fake News उज्जैन में अतिक्रमण हटाने का वीडियो, गलत दावे के साथ किया जा रहा है वायरल

Manmohan Prajapati
Update: 2021-08-30 09:52 GMT
उज्जैन में अतिक्रमण हटाने का वीडियो, गलत दावे के साथ किया जा रहा है वायरल

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कुछ दिनों पहले उज्जैन से एक वीडियो वायरल हुई थी जिसके साथ दावा किया गया था कि मोहर्रम के कार्यक्रम में लोगों ने ‘पाकिस्तान ज़िन्दाबाद’ के नारे लगाए हैं, इस वीडियो के वायरल होते ही पुलिस ने 23 लोगों पर शिकायत दर्ज कर ली थी। सोशल मीडिया पर वापस से एक वीडियो शेयर किया जा रहा है जिसमें बुलडोज़र की मदद से कई दुकानों और घरों को हटाया जा रहा है। 

इस नए वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि मोहर्रम के दौरान जिन लोगों ने ‘पाकिस्तान ज़िन्दाबाद’ के नारे लगाए थे सरकार द्वारा उनके घरों और दुकानों को उजाड़ा जा रहा है।

लखनऊ में तांगेवालों ने नहीं लगाए पाकिस्तान के झंडे, इस्लामिक प्रतीक को बताया गया पाकिस्तानी झंडा

एक ट्विटर यूजर ने इस वीडियो को शेयर करते हुए कैपशन में लिखा “ उज्जैन में जिस गफूर बस्ती के लोगों ने पाकिस्तान जिंदाबाद का नारा लगाया था, शिवराज सरकार @ChouhanShivraj ने पूरी अवैध बस्ती खाली करवा दी। जय हिंद ”। इसके साथ ही इसे फेसबुक पर भी इसी दावे के साथ शेयर किया जा रहा है।

क्या है वीडियो का सच?
हमने जब वीडियो को देखा तो उसमें बुलडोज़र की सहायता से कई दुकानों और बस्तियों को हटाया जा रहा था, इसे देख ऐसा लग रहा है कि सरकार द्वारा अवैध अतिक्रमण को हटाया जा रहा हो। हमने वीडियो को गूगल पर रिवर्स सर्च किया तो हमें कई मीडिया रिपोर्ट्स मिली जिसमें वायरल वीडियो का जिक्र किया गया है। 

रिपोर्टस से पता चलता है कि घटना 27 अगस्त की है, उज्जैन में हाईकोर्ट के ऑडर के बाद ज़िला प्रशासन ने अवैध अतिक्रमण के अंतरगत आई दुकानों और बस्तियों को बुलडोज़र से हटा दिया। इस जगह को खाली करने के लिए अतिक्रमणकारियों को 45 दिन का समय दिया गया था, इसके बाद भी जब स्थान को खाली नहीं किया गया तो उन्हें 7 दिन पहले आखिरी नोटिश जारी किया गया था लेकिन फिर भी इन लोगों द्वारा दुकानों को नहीं हटाया गया। घटना उज्जैन के हरिफाटक ब्रिज के पास की है।

Myntra ने नहीं बनवाया यह वायरल विज्ञापन, पांच साल पुरानी है खबर

इन रिपोर्ट्स से यह बात साफ हो जाती है कि इस घटना का ‘पाकिस्तान ज़िन्दाबाद’ के नारे लगाने वाले लोगों से कोई लेना-देना नहीं है। हालांकि यह दोनों घटनाएं उज्जैन से ही ताल्लुक रखती हैं लेकिन दोनों ही खबरें काफी अलग हैं जिसे एक भ्रमक दावे के साथ शेयर किया जा रहा है।    

Tags:    

Similar News