भारत नहीं कर अफगान क्षेत्र का उपयोग, पाकिस्तान दावा झूठा : काबुल

भारत नहीं कर अफगान क्षेत्र का उपयोग, पाकिस्तान दावा झूठा : काबुल

IANS News
Update: 2020-06-06 13:30 GMT
भारत नहीं कर अफगान क्षेत्र का उपयोग, पाकिस्तान दावा झूठा : काबुल

नई दिल्ली/काबुल, 6 जून (आईएएनएस)। अशरफ गनी सरकार ने इस्लामाबाद के इस आरोप को खारिज कर दिया है कि अफगानिस्तान पाकिस्तान को अस्थिर करने के लिए भारत को अपने क्षेत्रों का इस्तेमाल करने की अनुमति दे रहा है।

इमरान खान सरकार ने गुरुवार को एक बयान में कहा था कि संयुक्त राष्ट्र विश्लेषणात्मक सहायता एवं प्रतिबंध निगरानी टीम ने इस्लामाबाद के इस दावे का समर्थन किया है कि तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) अफगानिस्तान से भारतीय समर्थन से चल रहा है।

अफगानिस्तान के विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को काबुल में आरोपों को पूरी तरह से खारिज करते हुए एक बयान जारी कर कहा कि वह बिना किसी भेदभाव के सभी आतंकवादी समूहों से लड़ रहा है। मंत्रालय ने कहा, टीटीपी और उसके अन्य समूहों के हाथों पर अफगान लोगों का खून लगा हुआ है (ये संगठन अफगान नागरिकों के हत्यारे हैं)। राष्ट्रीय खतरे को देखते हुए अफगानिस्तान की राष्ट्रीय सुरक्षा नीति में इन्हें आतंकवादी संगठनों के तौर पर नामित किया गया है।

बयान में कहा गया है कि अफगानिस्तान में न्याय कायम रखने के लिए पिछले वर्षों के दौरान बड़ी संख्या में टीटीपी नेताओं और उसे गुर्गों को मुठभेड़ के दौरान ढेर किया गया है।

गनी सरकार ने पाकिस्तान को याद दिलाया कि आतंकवाद के शिकार के रूप में, अफगानिस्तान ने इस आम (कॉमन) दुश्मन के खिलाफ क्षेत्र की सामूहिक लड़ाई में अपनी भूमिका से कहीं अधिक प्रयास किया है।

अफगानिस्तान की सरकार ने कहा कि उसकी ओर से टीटीपी के कई शीर्ष नेताओं का सफाया किया गया है और वह आतंकवाद के खिलाफ इस लड़ाई में किसी भी तरह का कोई भेद नहीं करते हैं।

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की अल्पसंख्यक रिपोर्ट में कहा गया है कि न केवल तालिबान और अलकायदा अफगानिस्तान में एक-दूसरे के साथ सहयोग जारी रख रहे हैं, बल्कि कश्मीर-विशिष्ट पाकिस्तानी आतंकवादी समूह, जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) और लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) अपने हत्यारों को लक्षित हत्याओं को अंजाम देने के लिए अफगानिस्तान भेज रहे हैं।

पारदर्शिता और क्षेत्रीय सहयोग की बात करते हुए अफगान विदेश मंत्रालय ने कहा कि अफगानिस्तान ने आतंकवादी संगठनों के नेताओं और गुर्गों की हिसारत के लिए संबंधित साझेदार देशों तक पहुंच प्रदान की है।

यह दोहराते हुए कि वह आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में प्रतिबद्ध है, सरकार ने कहा कि उन्होंने हमेशा पारदर्शिता दिखाई है और किसी भी देश या तीसरे पक्ष को किसी अन्य देश को अस्थिर करने के लिए अफगानिस्तान का उपयोग करने की न तो कभी इजाजत दी है और न ही ऐसी किसी हरकत को वह कभी बर्दाश्त करेंगे।

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