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आसान नहीं जिला मुख्यालय पहुंचना, सभी रास्ते है जोखित भरे
डिजिटल डेस्क, अनूपपुर। अनूपपुर जिला मुख्यालय में प्रवेश करने के लिए चार प्रमुख रास्ते हैं, जिनमें से दो शहडोल जिले की ओर से तो एक सड़क वेंकटनगर तथा एक अमरकंटक की ओर से आती है। इन सभी मार्गों में वर्तमान में निर्माण कार्य चल रहा है। जिनमें से दो मार्ग MPRDC तथा एक का निर्माण लोक निर्माण विभाग द्वारा कराया जा रहा है। जिला मुख्यालय तक पहुंचने के लिए इन मार्गों में वाहन सवारों को संघर्ष करना पड़ रहा है, जिसकी मुख्य वजह अधूरी सड़कों में बारिश की वजह से मिट्टी का दलदल में तब्दील हो जाना है। वहीं दूसरी तरफ वेंकटनगर से अमरकंटक तिराहे तक 57 करोड़ रुपए की सड़क के निर्माण की समयावधि सात महीने पूर्व ही समाप्त हो चुकी है। बावजूद इसके अब तक इस मार्ग का कार्य पूर्ण नहीं हो पाया है। 7 और 8 जून को हुई बारिश की वजह से चारों दिशाओं से अनूपपुर जिला मुख्यालय तक पहुंचना दुष्कर कार्य हो गया है।
दलदल में तब्दील सड़क
नवंबर 2016 में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने जिले में 72 किलोमीटर लंबे मार्ग का पैकेज 151 करोड़ की लागत से स्वीकृत किया था। जिसमें दमेहड़ी-नोनघटी, दर्रीखेरवा से अनूपपुर तथा चचाई-अनूपपुर मार्ग शामिल है। दर्रीखेरवा से लेकर अनूपपुर में अमरकंटक तिराहे तक सड़क निर्माण के लिए मार्ग को उखाड़ देने के साथ ही उस पर अर्थवर्क करा दिया गया किन्तु मिट्टी पर निर्धारित दवाव नहीं डालने के कारण बारिश की वजह से सड़क में मिट्टी ने दलदल का स्वरूप ग्रहण कर लिया। मैदा फैक्ट्री से लेकर बैरीबांध तक इस सड़क में सफर करना दो पहिया चार पहिया वाहन चालकों के लिए जोखिम भरा हो गया है।
गड्ढो ने बढ़ाई मुसीबत
यही हाल चचाई अनूपपुर मार्ग का भी है MPRDC द्वारा बनवाई जा रही इस सड़क के निर्माण के लिए सड़क के दोनों ओर पटरी को खोद दिया गया है। बीते एक पखवाड़े से इस मार्ग पर काम नहीं करने व खुदी हुई पटरी के कारण बारिश का पानी इन गड्ढों में एकत्रित हो रहा है। रात्रि के समय गड्ढों में भरे पानी के कारण सड़क की सीमा का पता नहीं चलता और वाहनों को साइड देने के फेर में वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो रहे हैं।
मियाद पूरी सड़क अधूरी
वेंकटनगर से लेकर अमरकंटक तिराहे अनूपपुर तक 40 किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण 57 करोड़ की लागत से कराया जा रहा है। इस सड़क का कार्य नवंबर 2017 में पूर्ण हो जाना था किंतु 7 महीने का समय अधिक व्यतीत हो जाने के बाद भी यह कार्य पूर्ण नहीं हो पाया है। वहीं तुलसी कालेज से लेकर इंदिरा तिराहे तक सड़क की चौड़ाई में हेरफेर किए जाने की शिकायत स्थानीय लोगों द्वारा संभागायुक्त से की गई थी। जिसमें लोगों ने शिकायत की थी कि रसूखदारों को लाभ पहुंचाने के लिए चौड़ाई 5 फिट करने के साथ ही सड़क के केन्द्र से चौड़ाई को नहीं नापा जा रहा है। जिसके बाद कमिश्नर द्वारा जांच कराने की बात भी कही गई।
Created On :   11 Jun 2018 2:18 PM IST