पंचक काल आज समाप्त, अब फिर से कर सकेंगे ये कार्य

Panchak Yog or Panchak Kal 2018, Panchak Dosh Nivaran Ke Upay
पंचक काल आज समाप्त, अब फिर से कर सकेंगे ये कार्य
पंचक काल आज समाप्त, अब फिर से कर सकेंगे ये कार्य

 

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली।  पंचक काल में किसी भी शुभ या मंगलकार्य को प्रारंभ करना उत्तम नही माना गया है। 15 फरवरी से प्रारंभ पंचक अाज समाप्त हाे रहा है। इसके बाद अाप एक बार फिर से शुभ कार्याें काे प्रारंभ कर सकेंगे। दिन के अनुसार पंचक को उसके नाम से जाना जाता है। जैसे रविवार को रोग पंचक, सोमवार को राज पंचक, मंगलवार को अग्नि पंचक, शुक्रवार को चोर पंचक, शनिवार को सबसे ज्यादा कष्ट पहुंचाने वाली पंचक की इस घड़ी को मृत्यु पंचक कहा जाता है। 

 

पंचक के इन पांच दिनों को शास्त्रों में शुभ नही माना गया है। इन दिनों में चारपाई बनवाना, दक्षिण की यात्रा, घर की छत निर्माण सहित अनेक शुभ कार्यों को वर्जित माना गया है। पंचक काल  में शुभ कार्यों को करने से मनुष्य के भाग्यहीन एवं धनहीन होने का डर रहता है।  आज हम यहां आपको पंचक दोष को दूर करने बारे में बताने जा रहे हैं...


-यदि पंचक काल में किसी की मृत्यु होना भी कष्टकारी बताया गया है। यदि किसी के परिवार में यह दुखद पल पंचककाल में आ जाए तो शव दाह करते वक्त उसके साथ पांच अलग पुतले बनाएं और उसकी क्रिया भी अंतिम संस्कार के साथ ही कर दें। अन्यथा शास्त्रों के अनुसार उस घर या स्थान में पांच लोगों की मृत्यु का योग बनता है।


-इस दौरान कोई लकड़ी की वस्तु भी नही लेना चाहिए। यदि यह अति आवश्यक है तो ले लें, किंतु पंचक काल समाप्त होने पर देवी गायत्री का हवन अवश्य ही कराएं। इससे पंचक दोष समाप्त होता है।


-यदि आपका दक्षिण दिशा की ओर यात्रा करना आवश्यक है तो निकलने से पूर्व बजरंगबली को फल चढ़ाकर समस्त संकटों से रक्षा करने की प्रार्थना करके ही निकलें।

 

-पंचक के इस काल में घर की छत डलवाना भी वर्जित है, किंतु यदि यह अति आवश्यक है तो इससे पूर्व वहां पूजन कराकर समस्त मजदूरों को मिठाई बांटें।


-इस काल में यदि आपको चारपाई लेना या बनवाना अनिवार्य है तो बनवा लें, किंतु उसका प्रयोग पंचकाल के बाद करें।

Created On :   7 Feb 2018 4:00 AM GMT

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