दिल की हर समस्या का हल है अर्जुन वृक्ष, आयुर्वेद से जानें चमत्कारी फायदे

दिल की हर समस्या का हल है अर्जुन वृक्ष, आयुर्वेद से जानें चमत्कारी फायदे
अर्जुन वृक्ष (टर्मिनलिया अर्जुन) को भारतीय आयुर्वेद में हृदय रोगों का सबसे प्रभावी और प्राचीन उपचार माना जाता है। इसकी छाल को आयुर्वेदिक ग्रंथों में हृदयबलवर्धक और धमनियों को शुद्ध करने वाला बताया गया है।

नई दिल्ली, 3 अक्टूबर (आईएएनएस)। अर्जुन वृक्ष (टर्मिनलिया अर्जुन) को भारतीय आयुर्वेद में हृदय रोगों का सबसे प्रभावी और प्राचीन उपचार माना जाता है। इसकी छाल को आयुर्वेदिक ग्रंथों में हृदयबलवर्धक और धमनियों को शुद्ध करने वाला बताया गया है।

आज के समय में जब हृदय रोग जैसे हार्ट अटैक, ब्लॉकेज, हाई ब्लड प्रेशर और हाई कोलेस्ट्रॉल लाखों लोगों की जिंदगी को प्रभावित कर रहे हैं, ऐसे में अर्जुन छाल एक सस्ता, सुरक्षित और प्राकृतिक विकल्प माना जा रहा है।

यह पेड़ नदियों के किनारे अधिक पाया जाता है। इसकी छाल औषधीय गुणों से भरपूर होती है। इसमें टैनिन्स, सैपोनिन्स, फ्लावोनॉयड्स, एंटीऑक्सीडेंट्स और को-एंजाइम क्यू10 जैसे तत्व पाए जाते हैं, जो हृदय की मांसपेशियों को मजबूत बनाने, ब्लॉकेज को रोकने और रक्त प्रवाह को सही रखने में मदद करते हैं।

अर्जुन छाल का सबसे बड़ा लाभ यह है कि यह हृदय की कार्यक्षमता को बढ़ाती है और मांसपेशियों को मजबूत बनाती है। यह खराब कोलेस्ट्रॉल (एलडीएल) को कम कर अच्छे कोलेस्ट्रॉल (एचडीएल) को बढ़ाती है, जिससे धमनियों में चर्बी जमने से बचाव होता है। इसके नियमित सेवन से हाई बीपी नियंत्रित रहता है और यह बीटा-ब्लॉकर जैसी आधुनिक दवाओं का प्राकृतिक विकल्प बन सकता है।

हार्ट अटैक के बाद मरीज की रिकवरी में भी अर्जुन छाल का सेवन बेहद फायदेमंद साबित हुआ है। वैज्ञानिक शोधों में पाया गया है कि अर्जुन का काढ़ा इकोकार्डियोग्राफी में हृदय की क्षमता बढ़ाने में सहायक होता है। यही नहीं, इसके एंटीऑक्सीडेंट गुण दिल को फ्री रेडिकल्स से बचाकर उम्र से जुड़ी क्षति को भी धीमा करते हैं।

अर्जुन छाल का सेवन कई तरीकों से किया जा सकता है। सबसे प्रचलित तरीका है, इसका काढ़ा, जिसमें 1 चम्मच सूखी छाल को 2 कप पानी में उबालकर आधा रहने तक पकाया जाता है और इसे सुबह खाली पेट पीना होता है। दूसरा तरीका है अर्जुन छाल का चूर्ण, जिसे 1 से 3 ग्राम तक गुनगुने पानी या शहद के साथ सुबह-शाम लिया जा सकता है। बाजार में अर्जुन की हर्बल टी और कैप्सूल्स भी उपलब्ध हैं, जो व्यस्त जीवनशैली में इसे सेवन करने का आसान विकल्प प्रदान करते हैं।

हालांकि, इसका सेवन हमेशा संतुलित मात्रा में ही करना चाहिए क्योंकि अधिक मात्रा ब्लड प्रेशर को बहुत कम कर सकती है। गर्भवती महिलाओं और दवाइयां ले रहे मरीजों को इसे आयुर्वेदिक डॉक्टर की सलाह के बिना नहीं लेना चाहिए।

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Created On :   3 Oct 2025 5:47 PM IST

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