सीएम योगी पहुंचे गाजीपुर, सिद्धपीठ हथियाराम मठ में प्रबुद्ध जनों से किया संवाद

सीएम योगी पहुंचे गाजीपुर, सिद्धपीठ हथियाराम मठ में प्रबुद्ध जनों से किया संवाद
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार को गाजीपुर पहुंचे, जहां उन्होंने सिद्धपीठ हथियाराम मठ में प्रबुद्ध जनों से संवाद किया। अपने संबोधन में उन्होंने इस प्राचीन पीठ की आध्यात्मिक महत्ता और इसकी ऐतिहासिक विरासत को रेखांकित किया।

गाजीपुर, 11 अक्टूबर (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार को गाजीपुर पहुंचे, जहां उन्होंने सिद्धपीठ हथियाराम मठ में प्रबुद्ध जनों से संवाद किया। अपने संबोधन में उन्होंने इस प्राचीन पीठ की आध्यात्मिक महत्ता और इसकी ऐतिहासिक विरासत को रेखांकित किया।

मुख्यमंत्री ने इसे अपना सौभाग्य बताया कि उन्हें बुढ़िया देवी के दर्शन प्राप्त हुए और कहा कि यह पीठ 900 वर्षों से जनमानस की आस्था का केंद्र रही है। उन्होंने गाजीपुर को समृद्ध सांस्कृतिक और आध्यात्मिक परंपरा का प्रतीक बताते हुए कहा कि यह जनपद रामायण काल से ही चेतना और ऊर्जा का केंद्र रहा है। हथियाराम पीठ में 900 वर्ष पूर्व सन्यासियों की परंपरा प्रारंभ हुई थी, जो आज भी जीवंत रूप में उपस्थित है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने संबोधन में देश की आध्यात्मिक और धार्मिक प्रवृत्तियों की विशेषताओं को उजागर किया। उन्होंने कहा कि दुनिया के विभिन्न देशों में लोगों की अलग-अलग प्रकृति और वृत्ति होती है, लेकिन भारतवर्ष की विशेषता इसकी धार्मिक और आध्यात्मिक चेतना में है। उन्होंने इस बात पर बल दिया कि भारत के मठ-मंदिर केवल पूजा स्थलों तक सीमित नहीं हैं, बल्कि वे राष्ट्रीय चेतना और एकता के सूत्रधार भी हैं। उन्होंने कहा कि हर भारतीय के मन में भारतीयता का भाव होना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने अयोध्या में भगवान श्रीराम के मंदिर निर्माण का जिक्र करते हुए कहा कि आठ वर्ष पूर्व यह एक सपना था। जब रामभक्त 'रामलला हम आएंगे, मंदिर वहीं बनाएंगे' का उद्घोष करते थे, तब कुछ लोग इस पर प्रश्नचिन्ह लगाते थे। लेकिन सत्य संकल्प और दृढ़ इच्छाशक्ति से सभी सपने और लक्ष्य पूरे होते हैं। उन्होंने बताया कि अयोध्या में चारों द्वार पूज्य शंकराचार्यों के नाम पर समर्पित किए गए हैं और वहां महर्षि वाल्मीकि के नाम पर एयरपोर्ट का निर्माण किया गया है।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि मंदिरों, मठों और धार्मिक स्थलों का संरक्षण और पुनरोद्धार अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने यह भी कहा कि समाज में जो अच्छा कार्य करे, उसका समर्थन निःसंकोच किया जाना चाहिए।

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Created On :   11 Oct 2025 6:30 PM IST

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