राजनीति: सुभाष चंद्र बोस की 128वीं जयंती के अवसर पर 'पराक्रम दिवस' का आयोजन

सुभाष चंद्र बोस की 128वीं जयंती के अवसर पर पराक्रम दिवस का आयोजन
नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 128वीं जयंती के अवसर पर उनकी जन्म स्थली में 'पराक्रम दिवस' आयोजित किया जाएगा। 'पराक्रम दिवस- 2025' के अवसर पर नेताजी की जन्मस्थली ऐतिहासिक कटक शहर के बाराबती किले में 23 से 25 जनवरी तक एक भव्य समारोह आयोजित किया जाएगा।

नई दिल्ली, 21 जनवरी (आईएएनएस)। नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 128वीं जयंती के अवसर पर उनकी जन्म स्थली में 'पराक्रम दिवस' आयोजित किया जाएगा। 'पराक्रम दिवस- 2025' के अवसर पर नेताजी की जन्मस्थली ऐतिहासिक कटक शहर के बाराबती किले में 23 से 25 जनवरी तक एक भव्य समारोह आयोजित किया जाएगा।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 'पराक्रम दिवस' पर विशेष वीडियो संदेश देंगे। समारोह में नेताजी के जीवन पर केंद्रित एक पुस्तक, फोटो और अभिलेखीय प्रदर्शनी होगी, जिसमें दुर्लभ तस्वीरें, पत्र और दस्तावेजों के साथ-साथ उनकी उल्लेखनीय यात्रा को दर्शाने वाली एआर-वीआर प्रदर्शनी भी होगी।

यह बहुआयामी समारोह नेताजी की 128वीं जयंती पर उनकी विरासत के सम्मान में आयोजित किया जा रहा है। आगामी 23 से 25 जनवरी तक आयोजित होने वाले तीन दिवसीय कार्यक्रम का उद्घाटन ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी 23 जनवरी को करेंगे। नेताजी की जयंती 23 जनवरी को 'पराक्रम दिवस' के रूप में मनाने के सरकार के फैसले के बाद कोलकाता के विक्टोरिया मेमोरियल में पहला 'पराक्रम दिवस' मनाया गया था।

वर्ष 2022 में नई दिल्ली के इंडिया गेट पर नेताजी की होलोग्राम प्रतिमा का अनावरण किया गया। वर्ष 2023 में, अंडमान और निकोबार द्वीपसमूह में 21 अनाम द्वीपों का नाम 21 परमवीर चक्र पुरस्कार विजेताओं के नाम पर रखे गए। वर्ष 2024 में प्रधानमंत्री मोदी ने दिल्ली के ऐतिहासिक लाल किले में इस कार्यक्रम का उद्घाटन किया था, जो नेताजी द्वारा स्थापित इंडियन नेशनल आर्मी (आईएनए) पर मुकदमों का साक्षी रहा है।

अब इस परंपरा को जारी रखते हुए, इस वर्ष केंद्रीय संस्कृति मंत्रालय द्वारा कटक में 'पराक्रम दिवस' समारोह का आयोजन किया जा रहा है, जो नेताजी का जन्मस्थान है। यह वह शहर है, जिसने उनकी प्रारंभिक संवेदनाओं को आकार दिया था। तीन दिवसीय कार्यक्रम की शुरुआत ओडिशा के मुख्यमंत्री माझी और अन्य लोगों द्वारा नेताजी को श्रद्धांजलि अर्पित करने और उस घर पर राष्ट्रध्वज फहराने से होगी, जहां नेताजी का जन्म हुआ था। इसे अब उनके लिए समर्पित एक संग्रहालय में बदल दिया गया है।

इसके बाद, बाराबती किले में 'पराक्रम दिवस' समारोह की शुरुआत प्रधानमंत्री मोदी के वीडियो संदेश के साथ होगी। इस अवसर पर एक मूर्तिकला कार्यशाला और एक चित्रकला प्रतियोगिता-सह-कार्यशाला की भी योजना बनाई जा रही है। कार्यक्रम में नेताजी की विरासत का सम्मान करते हुए और ओडिशा की समृद्ध सांस्कृतिक परंपरा को उजागर करते हुए सांस्कृतिक प्रदर्शन भी होंगे। कार्यक्रम के दौरान नेताजी के जीवन पर आधारित फिल्में भी दिखाई जाएंगी।

अस्वीकरण: यह न्यूज़ ऑटो फ़ीड्स द्वारा स्वतः प्रकाशित हुई खबर है। इस न्यूज़ में BhaskarHindi.com टीम के द्वारा किसी भी तरह का कोई बदलाव या परिवर्तन (एडिटिंग) नहीं किया गया है| इस न्यूज की एवं न्यूज में उपयोग में ली गई सामग्रियों की सम्पूर्ण जवाबदारी केवल और केवल न्यूज़ एजेंसी की है एवं इस न्यूज में दी गई जानकारी का उपयोग करने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञों (वकील / इंजीनियर / ज्योतिष / वास्तुशास्त्री / डॉक्टर / न्यूज़ एजेंसी / अन्य विषय एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें। अतः संबंधित खबर एवं उपयोग में लिए गए टेक्स्ट मैटर, फोटो, विडियो एवं ऑडिओ को लेकर BhaskarHindi.com न्यूज पोर्टल की कोई भी जिम्मेदारी नहीं है|

Created On :   21 Jan 2025 9:28 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story