राजनीति: महाकुंभ में स्नान हर सनातनी के लिए बेहद महत्वपूर्ण प्रदीप भंडारी

महाकुंभ में स्नान हर सनातनी के लिए बेहद महत्वपूर्ण  प्रदीप भंडारी
भाजपा प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने शनिवार को प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ में आस्था की डुबकी लगाई। संगम स्नान के बाद प्रदीप भंडारी ने न्यूज एजेंसी आईएएनएस से बातचीत करते हुए अपनी भावना व्यक्त की और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का धन्यवाद किया।

महाकुंभ नगर, 22 फरवरी (आईएएनएस)। भाजपा प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने शनिवार को प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ में आस्था की डुबकी लगाई। संगम स्नान के बाद प्रदीप भंडारी ने न्यूज एजेंसी आईएएनएस से बातचीत करते हुए अपनी भावना व्यक्त की और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का धन्यवाद किया।

प्रदीप भंडारी ने कहा कि यह अवसर हर सनातनी के लिए बेहद महत्वपूर्ण है, जो जीवन भर संगम के पवित्र जल में स्नान करने की इच्छा रखते हैं। भंडारी ने कहा कि यह अवसर हर व्यक्ति को अपनी धार्मिक आस्था को जीवंत रूप में अनुभव करने का मौका देता है।

उन्होंने कहा कि यह अविश्वसनीय अनुभव है और मैं आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी का दिल से धन्यवाद करना चाहता हूं, जिन्होंने हर सनातनी को प्रयागराज में संगम के तट पर स्नान करने का अवसर दिया। यह वह अनुभव है, जिसे शब्दों में व्यक्त करना मुश्किल है। 60 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालु संगम के तट पर पहुंचकर स्नान कर चुके हैं और इसने एक बड़ा संदेश दिया है उन लोगों के लिए जो सनातन धर्म का अपमान करते हैं। यह संदेश स्पष्ट है कि सनातन एक है और भारत की एकता ही हमारी भारतीय सभ्यता का मुख्य आधार है।

प्रदीप भंडारी ने अपने व्यक्तिगत अनुभव को साझा करते हुए बताया कि उन्होंने अपने परिवार के साथ संगम में स्नान किया और यह अनुभव उन्हें श्री राम के मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा से मिलता-जुलता महसूस हुआ। मैंने जब प्रभु श्री राम के मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा में भाग लिया था, उस समय जो अनुभव हुआ था, वही अनुभव मुझे आज संगम में स्नान करने के बाद हो रहा है।

इसके अलावा, गंगा के पानी के पवित्रता को लेकर पूछे गए सवाल पर भंडारी ने कहा कि मैं शुद्ध महसूस कर रहा हूं और यह पानी अपने साथ घर ले जा रहा हूं। जो व्यक्ति गंगा के तट पर स्नान करता है, वह शुद्ध हो जाता है।" उन्होंने यह भी कहा कि जिनकी मानसिकता दूषित है, वे कभी इस अनुभव को समझ नहीं सकते। गंगा का जल केवल शारीरिक शुद्धता नहीं बल्कि मानसिक और आत्मिक शुद्धता का भी प्रतीक है। भंडारी ने अंत में गंगा मैया का आभार व्यक्त करते हुए 'हर हर गंगे' कहा और इसे जीवन भर की सबसे विशेष और अविस्मरणीय घटना बताया।

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Created On :   22 Feb 2025 9:06 PM IST

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