राजनीति: 'कानून में दखल नहीं, शांति बनाए रखना था उद्देश्य', महिला अधिकारी से बहस वाले वीडियो पर अजित पवार की सफाई

कानून में दखल नहीं, शांति बनाए रखना था उद्देश्य, महिला अधिकारी से बहस वाले वीडियो पर अजित पवार की सफाई
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और एनसीपी अध्यक्ष अजित पवार ने महिला अधिकारी को कथित तौर पर डांटने के मामले पर सफाई दी है। अजित पवार और महिला आईपीएस अधिकारी के बीच फोन पर बहस का वीडियो वायरल होने के बाद मामले ने तूल पकड़ा था। इस पर सफाई देते हुए अजित पवार ने कहा है कि उनका इरादा कानून प्रक्रिया में हस्तक्षेप करने का नहीं था, बल्कि यह सुनिश्चित करना था कि वहां स्थिति शांत रहे।

मुंबई, 5 सितंबर (आईएएनएस)। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और एनसीपी अध्यक्ष अजित पवार ने महिला अधिकारी को कथित तौर पर डांटने के मामले पर सफाई दी है। अजित पवार और महिला आईपीएस अधिकारी के बीच फोन पर बहस का वीडियो वायरल होने के बाद मामले ने तूल पकड़ा था। इस पर सफाई देते हुए अजित पवार ने कहा है कि उनका इरादा कानून प्रक्रिया में हस्तक्षेप करने का नहीं था, बल्कि यह सुनिश्चित करना था कि वहां स्थिति शांत रहे।

उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर लिखा, "सोलापुर जिले में पुलिस अधिकारियों के साथ मेरी बातचीत के कुछ वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं कि मेरा इरादा कानून प्रक्रिया में हस्तक्षेप करने का नहीं था, बल्कि यह सुनिश्चित करना था कि वहां स्थिति शांत रहे और आगे न बिगड़े।"

अपनी सफाई में अजित पवार ने आगे लिखा, "मैं अपने पुलिस बल और उन महिला अधिकारियों का बहुत सम्मान करता हूं, जो साहस और ईमानदारी से अपना कर्तव्य निभा रहे हैं। कानून का शासन मेरे लिए सर्वोपरि है। मैं पारदर्शी प्रशासन और अवैध रेत, मिट्टी और पत्थर खनन समेत हर अवैध गतिविधि के खिलाफ कानून के अनुसार सख्त कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध हूं।"

इससे पहले, महिला अधिकारी अंजना कृष्णा को डांटते और उनके खिलाफ एक्शन की चेतावनी का वीडियो वायरल हुआ। महिला अधिकारी फोन पर बात कर रही हैं, जिसमें दूसरी तरफ से उन्हें बताया गया था कि वे उपमुख्यमंत्री अजित पवार हैं। जानकारी के अनुसार, सोलापुर के करमाला की उप-मंडलीय पुलिस अधिकारी अंजना कृष्णा मुरम मिट्टी के अवैध उत्खनन के खिलाफ कार्रवाई कर रही थीं। फोन पर महिला अधिकारी को यह कार्रवाई रोकने के लिए कहा गया था।

इसी बीच, महिला अधिकारी ने उपमुख्यमंत्री की आवाज को पहचानने से इनकार किया। इस पर सामने से कहा गया कि "सुनो, मैं डिप्टी चीफ मिनिस्टर बोल रहा हूं।" फोन कॉल पर ही महिला अधिकारी को उनके खिलाफ कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई थी।

वीडियो वायरल होने के बाद शिवसेना (यूबीटी) नेता और सांसद संजय राउत ने सवाल उठाए थे। संजय राउत ने कहा कि दोनों उपमुख्यमंत्रियों ने आधा महाराष्ट्र लूट लिया है और बाकी हिस्सा अपने गुर्गों के जरिए लूटने के लिए प्रशासन पर दबाव बना रहे हैं।

हालांकि, महाराष्ट्र सरकार में राजस्व मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने अजित पवार का बचाव किया। उन्होंने कहा कि अजित पवार कभी अवैध और गलत काम के लिए अधिकारियों पर दबाव डालने वाले मंत्री नहीं हैं। चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा, "अजित पवार के पास आने वाले व्यक्ति ने उत्खनन को नियम के तहत बताया था, लेकिन अधिकारियों ने उसे अवैध बताया था। इसी को लेकर पूरा मामला उठा था।" बावनकुले ने कहा कि कई बार ऐसा होता है कि वास्तविक स्थिति मालूम नहीं होती है।

अस्वीकरण: यह न्यूज़ ऑटो फ़ीड्स द्वारा स्वतः प्रकाशित हुई खबर है। इस न्यूज़ में BhaskarHindi.com टीम के द्वारा किसी भी तरह का कोई बदलाव या परिवर्तन (एडिटिंग) नहीं किया गया है| इस न्यूज की एवं न्यूज में उपयोग में ली गई सामग्रियों की सम्पूर्ण जवाबदारी केवल और केवल न्यूज़ एजेंसी की है एवं इस न्यूज में दी गई जानकारी का उपयोग करने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञों (वकील / इंजीनियर / ज्योतिष / वास्तुशास्त्री / डॉक्टर / न्यूज़ एजेंसी / अन्य विषय एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें। अतः संबंधित खबर एवं उपयोग में लिए गए टेक्स्ट मैटर, फोटो, विडियो एवं ऑडिओ को लेकर BhaskarHindi.com न्यूज पोर्टल की कोई भी जिम्मेदारी नहीं है|

Created On :   5 Sept 2025 7:29 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story