आयुक्त और सत्तापक्ष के बीच पानी को लेकर संग्राम, 108 पार्षदों ने दी धरना देने की चेतावनी

A fight between the Commissioner and the ruling party over water, 108 councilors warned of picketing
आयुक्त और सत्तापक्ष के बीच पानी को लेकर संग्राम, 108 पार्षदों ने दी धरना देने की चेतावनी
आयुक्त और सत्तापक्ष के बीच पानी को लेकर संग्राम, 108 पार्षदों ने दी धरना देने की चेतावनी

डिजिटल डेस्क, नागपुर।  मनपा आयुक्त और सत्तापक्ष के बीच ‘पानी’ को लेकर संग्राम छिड़ गया है। आयुक्त का कहना है कि नियम के अनुसार ही जलापूर्ति कर बढ़ाया गया है, मगर सत्तापक्ष को आयुक्त का निर्णय मंजूर नहीं है। महापौर कह चुके हैं कि कोरोना संकट में जलापूर्ति बढ़ाकर नागरिकों पर बोझ डालना उचित नहीं है। अब सत्तापक्ष नेता संदीप जाधव ने भी कर वृद्धि के खिलाफ मार्चा खोल दिया है। 13 अगस्त को आयुक्त के कक्ष के सामने भाजपा के 108 नगरसेवकों के साथ उन्होंने आंदोलन छेड़ने की चेतावनी दी है। जानकारों की मानें तो आयुक्त के निर्णय पर पालकमंत्री तथा कांग्रेस के नगरसेवकों की खामोशी ही इस लड़ाई का ‘राजनीतिक मोड़’ है।  

स्थिति विपरीत
जाधव ने कहा कि महापौर ने आयुक्त को जलापूर्ति कर वृद्धि नहीं करने की सुझाव दिया, लेकिन उन्होंने नजरअंदाज कर दिया। स्थायी समिति ने कर वृद्धि का प्रस्ताव वापस प्रशासन को भेजा, तो आयुक्त यह कहते हुए जलापूर्ति कर वृद्धि पर अड़े रहे कि प्रस्ताव केवल जानकारी के लिए भेजा था, मंजूरी के लिए नहीं।  

आर्थिक बदहाली
फिलहाल कोरोना संकट में नागरिकों की आर्थिक स्थिति बदहाल है। जलापूर्ति कर वृद्धि का बोझ बढ़ाना ठीक नहीं है। हर वर्ष 10 प्रतिशत कर वृद्धि करने का निर्णय भले ही लिया गया था, लेकिन संकट के समय में वृद्धि करना उचित नहीं है। इस विषय पर आगामी 3 दिन में ठोस निर्णय नहीं लेने पर भाजपा के 108 नगरसेवकों के साथ आयुक्त कक्ष के सामने आंदोलन छेड़ने की उन्होंने चेतावनी दी।

कांग्रेस पर निशाना
जिले के पालकमंत्री कांग्रेस के हैं। शहर में जलापूर्ति कर वृद्धि के आयुक्त के निर्णय पर हस्तक्षेप कर उन्हें नागरिकों के हितों की रक्षा करनी चाहिए, लेकिन वही नहीं, कांग्रेस के नगरसेवक भी कुछ बोलने को तैयार नहीं। यह आयुक्त को आगे बढ़ाकर नागरिकों पर अतिरिक्त कर लादने का कांग्रेस का षड़यंत्र तो नहीं।  

Created On :   11 Aug 2020 7:20 AM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story