विवादित उड़ानपुल पर फैसला लें मुख्य अभियंता
डिजिटल डेस्क, नागपुर। शहर के जरीपटका क्षेत्र के मेकोसाबाग परिसर में बन रहे नए रेलवे ओवरब्रिज से जुड़ी रमेश वानखड़े की जनहित याचिका पर गुरुवार को बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर खंडपीठ में सुनवाई हुई। जिसमें सरकारी पक्ष ने कोर्ट को बताया कि, याचिकाकर्ता ने जनहित याचिका दायर करने से पूर्व 8 अप्रैल 2022 को राज्य सार्वजनिक निर्माणकार्य विभाग के मुख्य अभियंता के पास पुल के डिजाइन पर आपत्ति लेता एक निवेदन प्रस्तुत किया था। जिस पर मुख्य अभियंता ने आज तक फैसला नहीं लिया है। ऐसे में हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता को 27 मार्च को मुख्य अभियंता के समक्ष पेश होने को कहा है। मुख्य अभियंता को 5 अप्रैल के पूर्व याचिकाकर्ता के निवेदन पर फैसला लेने का आदेश दिया गया है। साथ ही उन्हें अगली सुनवाई में शपथपत्र प्रस्तुत करने का आदेश दिया है।
यह है मामला : गौरतलब है कि, राष्ट्रीय प्रत्यक्ष कर अकादमी से मकोसाबाग की ओर जाने वाले नागपुर दिल्ली रेलवे लाइन पर एक रेल ओवरब्रिज है, जिसका निर्माण 1923 में किया गया था। याचिकाकर्ता के अनुसार समय के साथ यह पुल जर्जर हो गया है। इसकी जगह नया पुल बनाया जा रहा है, लेकिन इस पुल की डिजाइन गलत है। सार्वजनिक निर्माणकार्य विभाग की नियम पुस्तिका के प्रावधानों का उल्लंघन कर रहा है। इस पुल का एक छोर गलत जगह पर प्रस्तावित है। इससे दो समुदायों के कब्रिस्तान में आने में परेशानी होगी। वहीं बस्ती में जाने के लिए सही जगह पर डिवाइडर नहीं होने से लोग गलत दिशा में वाहन चलाने लगेंगे। इस तरह पुल बना तो क्षेत्र में आवागमन से लेकर तो कई तरह की समस्याएं होंगी। मामले में याचिकाकर्ता की ओर से एड. शशिभूषण वहाने कामकाज देख रहे हैं।
Created On :   24 March 2023 3:57 PM IST