रोजगार की तलाश में गांव से लौट रहे प्रवासी मजदूर 

Migrant laborers returning from village in search of employment
रोजगार की तलाश में गांव से लौट रहे प्रवासी मजदूर 
रोजगार की तलाश में गांव से लौट रहे प्रवासी मजदूर 

डिजिटल डेस्क, मुंबई। कोरोना पर नियंत्रण के लिए लगाए गए लॉकडाउन के दौरान मुश्किलों भरा सफर तय कर अपने गांव पहुंचे प्रवासी मजदूर अब काम की तलाश में वापस मुंबई पहुंच रहे हैं। क्योंकि उनके गांव में रोजगार उपलब्ध नहीं है। हालांकि अभी गांव से मुंबई आने वाले मजदूरों की रफ्तार धीमी है लेकिन बकरीद  होने व काम मिलने की गारंटी के बाद इसमें तेजी आ सकती है।  हाल ही में उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर जिले से धारावी में अपनी भंगार की दुकान पर वापस लौटे मुमताज अली ने कहा कि मैं अप्रैल में अपने परिवार के साथ टेम्पों से गांव चला गया था। एक जन के लिए तीन हजार रुपये किराए का भुगतान किया था और तीन दिन के सफर के बाद गांव पहुचा था। दो महीने गांव में बिताए। पहले सोचा था जब महामारी खत्म हो जाएगी तो वापस आऊंगा लेकिन उत्तर प्रदेश में कोई काम न मिलने के कारण वापस मुंबई आना पड़ा। 

इसी तरह बरेली से अपने धारावी के कपड़ों के कारखाने में लौटे नसीम अख्तर का कहना है कि मुंबई में शुरु हुई गतिविधियों से फिलहाल मैं पर्याप्त कमा लेता हूं। पर अभी पहली जैसे काम नहीं मिल रहा है। गांव में बिल्कुल काम नहीं मिल रहा था और मुझे अपने परिवार की जिम्मेदारी संभालनी थी इसलिए यहां वापस आना पड़ा। कपड़ों का कारखाना चलानेवाले नासिर अंसारी कहते है कि अभी कोई ज्यादा मांग नहीं है इसलिए काम कम है। उनके यहां 12 लोग काम करते थे। जो उनसे फोन पर काम के बारे में पूछ रहे हैं लेकिन ज्यादा काम न होने के कारण उनके फोन नजरअंदाज कर रहा हूं। पहले धारावी में सारे दिन मशीनों की आवाज आती थी लेकिन उत्पादों की मांग कम होने के कारण यह आवाज गायब है। फिलहाल लोग सिर्फ जरूरी चीजों पर ही खर्च कर रहे हैं लेकिन आने समय में हमें स्थिति में और सुधार होने की उम्मीद है।  वहीं महानगर के बांद्रा इलाके में लॉकडाउन के दौरान गांव जाने वाले मजदूरों की भीड़ ज्यादा दिखी थी पर अब यहां पर भी निर्माण कार्य में लगे मजदूरों की वापसी शुरू हो गई है। बकरीद का त्यौहार खत्म होने के बाद ज्यादा मजदूरों की वापसी की उम्मीद हैं। 

Created On :   1 Aug 2020 5:22 PM IST

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