बैंक फ्रॉड मामलों पर बोले जेटली- नेताओं पर मढ़ दिया जाता है दोष, रेग्युलेटर्स भी जवाबदेह 

बैंक फ्रॉड मामलों पर बोले जेटली- नेताओं पर मढ़ दिया जाता है दोष, रेग्युलेटर्स भी जवाबदेह 

Bhaskar Hindi
Update: 2018-02-24 11:48 GMT
बैंक फ्रॉड मामलों पर बोले जेटली- नेताओं पर मढ़ दिया जाता है दोष, रेग्युलेटर्स भी जवाबदेह 

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने शनिवार को PNB घोटाले समेत हाल ही में सामने आए कुछ बैंक फ्रॉड पर प्रतिक्रिया दी है। अरुण जेटली ने कहा है कि बैंक फ्रॉड के मामले सामने आने पर हमेशा नेताओं को जिम्मेदार ठहराया जाता है जबकि रेग्युलेटर्स (नियामकों) और ऑडिटर्स की भी इन केसों में बराबर जवाबदेही बनती है। जेटली ने कहा, "बैंक धोखाधड़ी के मामलों में कोई भी रेग्युलेटर्स को दोषी नहीं मानता। रेग्युलेटर्स का बहुत अहम रोल होता है। वे पूरे नियम तय करते हैं। उन्हें धोखाधड़ी की पहचान एवं इन्हें रोकने के लिए तीसरी आंख खुली रखनी चाहिए। दुर्भाग्य है कि भारत में इन मामलों में हम नेता तो जिम्मेदार होते हैं लेकिन रेग्युलेटर्स नहीं।"

ET ग्लोबल समिट में लगातार सामने आ रहे इन बैंक फ्रॉड को चिंताजनक बताते हुए जेटली ने कहा कि बैंक से धोखाधड़ी और जानबूझकर लोन न चुकाने के मामलों से देश की अर्थव्यवस्था पर विपरीत असर पड़ता है। अगर ऐसे ही मामले लगातार होते रहे तो ईज ऑफ डूइंग बिजनेस का हमारा प्रयास बेकार साबित होगा।

जेटली ने इस दौरान व्यापारियों को नैतिक कारोबार करने की भी सलाह दी। उन्होंने कहा, "कर्जदाता-कर्जदार के संबंधों में अनैतिक व्यवहार का खत्म होना जरूरी है। व्यापारियों को कारोबार में नैतिकता बरतना चाहिए। इस तरह के घोटाले अर्थव्यवस्था पर धब्बा हैं और ये सुधारों एवं कारोबार सुगमता को पीछे धकेल देते हैं।"

पीएनबी घोटाले का सीधे नाम न लेते हुए जेटली ने यह भी कहा कि इस मामले में अफसरों और ऑडिटर्स की अनदेखी सामने आई है। बैंक में क्या चल रहा है इससे शीर्ष प्रबंधन की अनभिज्ञता और अपर्याप्त निगरानी चिंताजनक है।

गौरतलब है कि हाल ही में 3 बड़े बैंक फ्रॉड सामने आए है। फरवरी के शुरुआती सप्ताह में पीएनबी का 11,356 करोड़ रुपए का घोटाला सामने आया था। इसके बाद रोटोमैक कंपनी का 3500 करोड़ से ज्यादा का घोटाला और अब ओबीसी बैंक में 389 करोड़ की हेराफेरी की बात सामने आई है।

 

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