सीएम के ग्रामीणों का फूटा गुस्सा - सीधी बस हादसा के पीडि़तों से मिलने पहुंचे थे शिवराज

सीएम के ग्रामीणों का फूटा गुस्सा - सीधी बस हादसा के पीडि़तों से मिलने पहुंचे थे शिवराज

Bhaskar Hindi
Update: 2021-02-18 08:33 GMT
सीएम के ग्रामीणों का फूटा गुस्सा - सीधी बस हादसा के पीडि़तों से मिलने पहुंचे थे शिवराज

डिजिटल डेस्क  सीधी । सीएम साहब! आप सड़क बनवा दीजिए, हादसे के जिम्मेदारों को सेवा से हटा दीजिए,रहम की बात मत कीजिए, ये समाधान नहीं है ,शिवराज सबसे पहले रामपुर नैकिन के सुरेश गुप्ता के घर गए। सुरेश बस में अपने दो साल के पोते अथर्व और बहू पिंकी के साथ सफर कर रहे थे। हादसे में वे बच गए। पोता-बहू डूब गए। सुरेश ने सीएम से दो टूक कहा- हमें रहम नहीं चाहिए। आप उन पुलिसवालों को सेवा से मुक्त करो, जो हादसे के लिए जिम्मेदार हैं। आप सड़क बनवा दो। अगर जाम नहीं होता तो हमारे बच्चे जिंदा होते। सड़क बनवा दीजिए। जो मेरे साथ हुआ, वो किसी और परिवार के साथ न हो।
(मुख्यमंत्री ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती घायलों से हालचाल जाना। फिर वे चुरहट, ग्राम पचोखर, ग्राम पड़रिया खुर्द, कुकड़ीझर, अमहवा भी पहुंचे। इस दौरान वे भी भावुक हो गए।
36 घंटे बाद हुई कार्रवाई सड़क विकास निगम के डीएम, एजीएम मैनेजर और प्रभारी आरटीओ सस्पेंड
सीधी बस हादसे की घटना के 36 घंटे बाद सरकार एक्शन में आई। मुख्यमंत्री ने सीधी में रात्रि प्रवास के पहले कलेक्ट्रेट में जिले के अधिकारियों की बैठक बुलाई। इसके बाद जिले के प्रभारी आरटीओ एसपी दुबे, मप्र सड़क विकास निगम के डीएम मनोज जैन, एजीएम अमित नारगेसे, मैनेजर बीपी तिवारी को सस्पेंड कर दिया। साथ ही कहा कि जांच रिपोर्ट आने के बाद पुलिस-प्रशासन के साथ बाकी दोषियों पर भी सख्त कार्रवाई होगी। इस घटना की तह में जाएंगे। दुबे सिंगरौली के आरटीओ रहे, सीधी जिले का उनके पास अतिरिक्त प्रभार रहा। मुख्यमंत्री ने बचाव करने वाले शिवरानी समेत तीन लोगों को पांच-पांच लाख और पुलिस-प्रशासन के लोगों को भी सहायता देने की बात कही।
अफसर बोले- सड़क खराब थी मंत्री का जवाब- पहले जांच कर लें
परिवहन विभाग के डिप्टी कमिश्नर एके सिंह ने घटनास्थल का मुआयना करने के बाद हादसे के लिए खराब सड़क को जिम्मेदार बताया। कहा- सड़क पर जंपिंग बहुत है। इस पर जब पीडब्ल्यूडी मंत्री गोपाल भार्गव से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि कुछ भी बोलने से पहले पुख्ता जांच होनी चाहिए। सड़कें तो पूरे देश में एक जैसी हैं, क्या सभी जगह हादसे की एक ही वजह होती है।
 

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