12 घंटे तक ग्रामीण के घर में घुसा रहा तेंदुआ, वन अमले ने सुरक्षित पकड़ा 

12 घंटे तक ग्रामीण के घर में घुसा रहा तेंदुआ, वन अमले ने सुरक्षित पकड़ा 

Bhaskar Hindi
Update: 2019-05-08 08:08 GMT
12 घंटे तक ग्रामीण के घर में घुसा रहा तेंदुआ, वन अमले ने सुरक्षित पकड़ा 

डिजिटल डेस्क, मवई/टीकमगढ़। जिला मुख्यालय से करीब 12 किमी दूर टीकमगढ़-मवई रोड पर दुर्गापुर गांव में मंगलवार सुबह करीब 6 बजे किसान श्रीपाल के मकान में तेंदुआ घुस गया। इस दौरान श्रीपाल का 17 वर्षीय लड़का पुष्पेंद्र पाल मकान की अटारी पर चाय बना रहा था। जैसे ही उसने तेंदुआ को कमरे में देखा तो वह घबरा गया। सूझबूझ दिखाते हुए वह कमरे से बाहर निकला और बाहर से दरवाजा बंद कर दिया। मकान में तेंदुआ घुसने की खबर जंगल में आग की तरह फैल गई। बंद कमरे में तेंदुआ देखने लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा। 

ग्रामीणों ने तुरंत इसकी सूचना वन विभाग को दी। जानकारी लगते ही डीएफओ चंद्रशेखर सिंह के निर्देश पर रेंजर मुकेश केन, वन रक्षक अय्यूब खां सहित टीम मौके पर पहुंची। पहले तो उन्होंने कमरे में बने छोटे से सुराख से तेंदुए को देखा। इसके बाद उसके सुरक्षित पकड़ने के लिए योजना बनाई गई। डीएफओ के निर्देश पर ओरछा सेंचुरी से बड़ा पिंजरा मंगाया गया। इस पूरी प्रक्रिया में पूरा दिन बीत गया। शाम 5 बजे वन अमले ने ग्रामीणों को मकान से दूर किया। इसके बाद कमरे के गेट पर पिंजरा लगाया गया। कमरे में बने सुराख से बांस डालकर तेंदुए को गेट की ओर खदेड़ा गया। जैसे ही तेंद़ुआ गेट पर रखे पिंजरे में घुसा तो वन कर्मचारियों ने पिंजरे का दरवाजा बंद कर दिया। इस तरह शाम 6 बजे तेंदुए को सुरक्षित पिंजरे में बंद किया गया।

डीएफओ चंद्रशेखर सिंह ने बताया कि अभी तेंदुए को टीकमगढ़ ले जाकर परीक्षण कराया जाएगा। इसके बाद वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देश पर उसे जंगल में छोड़ा जाएगा। फिलहाल डीएफओ ने तेंदुए को छोड़े जाने वाले स्थान का खुलासा नहीं किया है। 

दिनभर दहशत में रहे गांव वाले 
दुर्गापुर गांव के लोगों ने बताया कि तेंदुआ को सबसे पहले सुबह करीब 5.45 बजे हरिजन बस्ती में देखा गया। आसपास के लोग उसे देखते ही घबरा गए। उन्होंने उसे खदेड़ने का प्रयास किया। इसके बाद तेंदुआ भागकर श्रीपाल के मकान में जा घुसा। वह खपरैल मकान घर की छत से अटारी पर पहुंच गया। इसके बाद वह कमरे में घुस गया। जहां पुष्पेंद्र चाय बना रहा था।

एक्पर्ट को बुलाने में हुई देरी 
दरअसल स्थानीय स्तर पर तेंदुआ पकड़ने के लिए विभाग में कोई एक्पर्ट नहीं था। इसलिए वन विभाग के अधिकारी कोई जल्दबाजी करना नहीं चाहते थे। उन्होंने पहले पन्ना टाइगर रिजर्व के एक्सपर्ट से संपर्क किया। बाद में ओरछा सेंचुरी में तैनात वन कर्मचारियों ने तेंदुआ पकड़ने की बात कही। इसके बाद ओरछा से ही बड़ा पिंजरा मंगाया गया। भारी भरकम पिंजरा वाहन में रखकर लाया गया, जिससे काफी समय लग गया। आखिरकार शाम 5 बजे वन अमले ने कमरे के दरवाजे पर पिंजरा लगाया। पूरी मुस्तैदी के साथ टीम ने उसे पिंजरे में कैद करने में सफलता हासिल की। 
 

Tags:    

Similar News