आरक्षण फिलहाल कोई हटा नहीं सकता,समीक्षा की बात तो होनी ही चाहिए-लोकेंद्र सिंह कालवी

आरक्षण फिलहाल कोई हटा नहीं सकता,समीक्षा की बात तो होनी ही चाहिए-लोकेंद्र सिंह कालवी

Anita Peddulwar
Update: 2018-06-23 11:09 GMT
आरक्षण फिलहाल कोई हटा नहीं सकता,समीक्षा की बात तो होनी ही चाहिए-लोकेंद्र सिंह कालवी

डिजिटल डेस्क, नागपुर। पद्मावत फिल्म के विरोध को लेकर चर्चाओं में रहे राजपूत संगठन करणी सेना के अध्यक्ष लोकेंद्रसिंह कालवी ने कहा है कि अयोध्या में राम महल बनाया जाना चाहिए। राम महल बनाने के लिए उनके संगठन को मंजूरी मिल जाए तो किसी तरह की अड़चन नहीं रहेगी। निर्माण कार्य के लिए पैसों के अलावा राजनीतिक सहमति की व्यवस्था भी कर ली जाएगी। आरक्षण के मामले पर उन्होंने कहा कि फिलहाल कोई भी आरक्षण को हटा नहीं सकता है, लेकिन अारक्षण को लेकर उठ रहे विविध प्रश्नों को देखते हुए समीक्षा आवश्यक है। समीक्षा का मतलब समाप्त करना नहीं होता है। अयोध्या व आरक्षण मामले को लेकर प्रधानमंत्री से जल्द ही मुलाकात की जाएगी।

शनिवार को सिविल लाइन स्थित पत्रकार क्लब में पत्रकार वार्ता में श्री कालवी बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि करणी सेना को लेकर निराधार प्रचार सुनने को मिलता है, जबकि करणी सेना सामाजिक संगठन है। अयोध्या राम जन्मभूमि है। राजपूत वंश का जुड़ाव राम से है। करणी सेना मानती है कि राम का जन्म मंदिर नहीं महल में हुआ होगा। लिहाजा अयोध्या में राम महल बनाया जाना चाहिए। इस संबंध में करणी सेना का निवेदन उच्चतम न्यायालय में लंबित है। उस निवेदन को न तो स्वीकृत किया गया है न ही खारिज किया गया है। मंजूरी मिल जाए तो करणी सेना अयोध्या में राम महल बनाने के लिए तैयार है। आरक्षण को लेकर हर राज्यों से प्रश्न उठ रहे हैं। विविध समाज आरक्षण की मांग कर रहे हैं। प्रश्न यह नहीं है कि आरक्षण की विवेचना हो, उसका विरोध किया जाए , पर विविध समाज की मांग के अनुरुप आरक्षण की समीक्षा होनी चाहिए।

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ.मोहन भागवत ने आरक्षण की समीक्षा की बात कही थी। उस बात को ही आगे बढ़ाने का प्रयास उनका संगठन कर रहा है। दत्तात्रेय होसबले, मा.गो वैद्य व अन्य संघ विचारकों के विचारों को जिक्र करते हुए श्री कालवी ने कहा कि गरीबी या जरुरतमंदी का संबंध धर्म या जाति से नहीं होता है। डॉ.बाबासाहब आंबेडकर व महात्मा गांधी ने आरक्षण को लेकर जो संकल्पना रखी थी उसके अनुरुप यह देखा जाना चाहिए कि आरक्षण का सही लाभ मिल रहा है या नहीं। राष्ट्रपति आरक्षण के लाभार्थी बन जाते है। एक राष्ट्रपति ने बेटी को आरक्षित कोटे से प्रशासनिक अधिकारी बनाया था। 23 सितंबर को चित्तोड़ में करणी सेना का अखिल भारतीय सम्मेलन होने वाला है। उसमें शामिल होने के लिए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ.मोहन भागवत को भी आमंत्रित किया जाएगा।

संघ में जतायी गहरी आस्था
करणी सेना को गैर राजनीतिक संगठन बताते हुए लोकेंद्रसिंह कालवी ने राजनीतिक दबाव की भी बात की। उन्होंने साफ कहा कि आरक्षण व अयोध्या मामले में निर्णय के लिए उनका संगठन दबाव का काम करेगा। चुनाव में करणी सेना के उम्मीदवार नहीं रहेंगे,  लेकिन अयोध्या व आरक्षण के मामले में करणी सेना के विचार का समर्थन करनेवाले उम्मीदवारों को करणी सेना समर्थन देगी। वोट की चोटी की रणनीति के तहत उनका संगठन काम करेगा। श्री कालवी ने संघ के प्रति गहरी आस्था जतायी। उन्होंने कहा आरक्षण समीक्षा के संबंध में सरसंघचालक के शब्द पर जनसमर्थन जुटाने का लिए उनका संगठन काम कर रहा है। राजस्थान के नागौर जिले में संघ के पोशाक परिवर्तन का निर्णय हुआ था। श्री कालवी ने कहा कि नागौर जिला उनका जन्मस्थान है। शनिवार को सरसंघचालक नागपुर में नहीं थे। लिहाजा श्री कालवी ने कहा कि सरसंघचालक की अनुपस्थिति में वे संघ के अन्य वरिष्ठ नेताओं से मिलने का प्रयास करेंगे। 

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