NCP ने कहा- इमरजेंसी में जेल जाने वालों को पेंशन पर रुख स्पष्ट करे शिवसेना

NCP ने कहा- इमरजेंसी में जेल जाने वालों को पेंशन पर रुख स्पष्ट करे शिवसेना

Tejinder Singh
Update: 2018-06-14 14:14 GMT
NCP ने कहा- इमरजेंसी में जेल जाने वालों को पेंशन पर रुख स्पष्ट करे शिवसेना

डिजिटल डेस्क, मुंबई। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी ने कहा है कि शिवसेना इमरजेंसी के दौरान जेल में बंद रहने वालों को पेंशन देने के सरकार के फैसले पर अपनी भूमिका स्पष्ट करे। पार्टी प्रवक्ता नवाब मलिक ने कहा कि यदि इस फैसले पर शिवसेना का समर्थन है, तो पार्टी को यह भी साफ करना चाहिए कि इमरजेंसी को लेकर शिवसेना प्रमुख बाला साहेब की भूमिका सही नहीं थी? गुरुवार को प्रदेश राष्ट्रवादी कार्यालय में मलिक ने कहा कि राज्य सरकार ने इमरजेंसी के दौरान मीसा कानून के तहत जेल जाने वालों को 10 हजार रुपए बतौर पेंशन देने का एलान किया है।

सरकार में शामिल शिवसेना को इस फैसले की बावत अपनी भूमिका साफ करनी चाहिए। मलिक ने कहा शिवसेना ने देश में इमरजेंसी लगाए जाने का यह कहते हुए समर्थन किया था कि यह वक्त की जरूरत थी। अब जब इमरजेंसी में जेल जाने वालों को पेंशन देने का फैसला लिया गया है तो शिवसेना को स्पष्ट करना चाहिए कि इमरजेंसी को लेकर बाला साहेब की भूमिका सही थी या गलत।

मीसा के तहत जेल गए तस्करों को भी मिलेंगी पेंशन?
मलिक ने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की तरह मीसा बंदियों को पेंशन देना ‘उंगली कटा के शहीदों में नाम लिखाना’ जैसा है। राकांपा प्रवक्ता ने सवाल किया कि क्या सरकार मीसा कानून के तहत जेल जाने वाले स्मगलरों को भी पेंशन देगी। क्योंकि इस वक्त हाजी मस्तान व मिर्जा जैसे लोग भी मीसा के तहत जेल भेजे गए थे। उन्होंने कहा कि क्या सरकार मीसा के तहत जेल भेजे गए अपराधियों को भी स्वतंत्रता सेनानी का दर्जा देना चाहती है।  
 

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