बिजली चोरी पकड़ने एक साथ कई स्थानों पर छापा, 3 लाख 20 हजार भरकर कुछ ने छुड़ाई जान

बिजली चोरी पकड़ने एक साथ कई स्थानों पर छापा, 3 लाख 20 हजार भरकर कुछ ने छुड़ाई जान

Tejinder Singh
Update: 2018-04-29 09:31 GMT
बिजली चोरी पकड़ने एक साथ कई स्थानों पर छापा, 3 लाख 20 हजार भरकर कुछ ने छुड़ाई जान

डिजिटल डेस्क, नागपुर। कुछ समय के ब्रेक के बाद एसएनडीएल ने शनिवार से बिजली चोरी पकड़ने और बकाया वसूली की मुहिम जोरों से शुरू कर दी है। जानकारी के अनुसार शनिवार को एसएनडीएल के सर्तकता विभाग के 60 कर्मचारियों के 12 दलों ने एक साथ कुंभारपुरा, मिर्ची बाजार, महेंद्र नगर व बुद्धाजी नगर में पुलिस के साथ कार्रवाई शुरू की। कुल 71 कनेक्शनों की जांच की गई। इनमें से 19 मीटरों में 8 लाख से अधिक की बिजली चोरी पकड़ी गई। इनमें से 9 लोगों ने बिजली कटने और पुलिस रिपोर्ट से बचने के लिए तुरंत 3 लाख 20 हजार रुपए का भुगतान कर दिया। शेष पर एसएनडीएल पुलिस प्राथमिकी दर्ज कराने की प्रक्रिया कर रही है। 

लिया आधुनिक तरीकों का सहारा 
शनिवार को हुई कार्रवाई पूर्व नियोजित व तय स्थानों पर की गई। सतर्कता विभाग और एसएनडीएल के आईटी विभाग ने बिजली की खपत में आए अंतर के आधर पर कुछ कनेक्शनों को चिह्नित किया और उन पर सीधे कार्रवाई। इससे समय की बचत और अचूक कार्रवाई में सफलता मिली। 

चोरी और सीनाजोरी 
कार्रवाई के दौरान एसएनडीएल के दलों को कई जगह विरोध का सामना करना पड़ा। यहां तक कि लोगों ने कार्रवाई के आदेश और जीआर की भी मांग कर डाली। महेंद्र नगर में जांच के लिए पहुंचे दल पर कुछ लोंगों ने हमला कर दिया। इसमें एसएनडीएल के एक कर्मचारी को हाथापाई में मामूली चोट पहुंची। एसएनडीएल ने इसके खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज की। शिकायत के आधार पर गुरुमेक सिंह के खिलाफ पुलिस ने मामला दर्ज किया है। 

दिखाया जा रहा था डमी मीटर 
सिद्धार्थनगर, टेका नाका निवासी गुरमेक सिंह मेघा सिंह गंजी ने दो मंजिला बंगला रोशन कर रखा था। 3 अप्रैल को हुई कार्रवाई में यहां 37 कि.वा. का भार मिला था, जो पूरी तरह बिजली चोरी से चल रहा था। यहां 6 लाख 21 हजार की बिजली चोरी पकड़ी गई थी। उन्होंने गलती भी मानी और तुरंत 2 चेक से भुगतान भी कर दिया। दोनों चेक बाउंस हो गए। इसकी शिकायत तहसील पुलिस थाने में दर्ज कराई गई है।

शनिवार को जब एसएनडीएल कर्मी पुलिस के साथ मीटर निकालने पहुंचे, तो पहले तो बहुत हंगामा किया, बाद में जब पुलिस की मौजूदगी में मीटर निकाला गया, तो एक और मीटर बंगले में नजर आया। मालूम पड़ा कि महावितरण के जमाने में नारी रोड पर रहने वाली किसी कमलजीत कौर लुभाना के नाम का है, जिसका कोई रिकार्ड ही नहीं है। उपभोक्ता रीडिंग करने वाले को हर बार यही डमी मीटर दिखाकर रीडिंग करा रहा था। इसे भी निकाल लिया गया है। जानकारी के अनुसार एसएनडीएल अधिकारी महावितरण से सलाह कर इस पर कार्रवाई करेंगे। 

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