27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण पर सरकार को जवाब देने दो सप्ताह की मोहलत

27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण पर सरकार को जवाब देने दो सप्ताह की मोहलत

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Update: 2019-09-14 07:55 GMT
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डिजिटल डेस्क जबलपुर। हाईकोर्ट ने मध्यप्रदेश में 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर राज्य सरकार को जवाब पेश करने दो सप्ताह की मोहलत दी है। एक्टिंग चीफ जस्टिस आरएस झा और जस्टिस विशाल धगट की युगल पीठ ने याचिकाओं में संशोधन को भी मंजूरी दे दी है। 
 राज्य सरकार ने ओबीसी आरक्षण को 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर
नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच, यूथ फॉर इक्वॉलिटी, असिता दुबे और प्रत्युश द्विवेदी की ओर से अलग-अलग याचिकाएं दायर कर मध्यप्रदेश में 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण को चुनौती दी गई है। याचिकाओं में कहा गया कि मध्यप्रदेश में पूर्व में 14 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण था। राज्य सरकार ने ओबीसी आरक्षण को 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर दिया है। इसकी वजह से मध्यप्रदेश में कुल आरक्षण 63 प्रतिशत हो गया है। 10 प्रतिशत सवर्ण आरक्षण लागू हो जाने से आरक्षण बढ़कर 73 प्रतिशत हो जाएगा। पूर्व में 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण के अध्यादेश को चुनौती दी गई थी। याचिकाओं के लंबित रहने के दौरान राज्य सरकार ने विधानसभा से 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण का अधिनियम पारित करा लिया। अधिनियम लागू होने के बाद याचिकाओं में संशोधन का अनुरोध किया गया था। युगल पीठ ने याचिकाओं में संशोधन की अनुमति देते हुए राज्य सरकार को जवाब पेश करने की मोहलत दी है। याचिकाकर्ताओं की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता आरएन सिंह, आदित्य संघी और दिनेश उपाध्याय पैरवी कर रहे है।
 

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