गड़चिरोली की जीवनदायिनी नदियां सूखने की कगार पर, गहराया जलसंकट
गड़चिरोली की जीवनदायिनी नदियां सूखने की कगार पर, गहराया जलसंकट
डिजिटल डेस्क, गड़चिरोली। अप्रैल माह की भीषण गर्मी व लगातार बढ़ते तापमान के कारण क्षेत्र में नदी, नालों व कुओं का जलस्तर तीव्र गति से घट रहा है। इसी तरह आरमोरी तहसील मुख्यालय से सटे गाढ़वी नदी भी सूखने की कगार पर है। जिसके चलते इस नदी पर निर्भर अनेक गांवों में भीषण जलसंकट गहराया है।
दो नदियों से बुझ रही दर्जनों गांवों की प्यास
आरमोरी तहसील के नागरिकों के लिए गाढ़वी व खोब्रागड़ी नदी वरदान है। इन दोनों नदियों के भरोसे ही तहसील के दर्जनों गांवों में जलापूर्ति योजना चलायी जा रही हैं। वहीं गाढ़वी नदी का पानी गांवों के लिए उपयोग में लाया जाता है, लेकिन अप्रैल माह के शुुरुआती दिनों में ही गाढ़वी नदी पूरी तरह सूख जाने के कारण ठाणेगांव की जलापूर्ति योजना पूरी तरह बंद पड़ी है, जिससे ठाणे गांववासियों को सर्वाधिक पेयजल की समस्या से जूझना पड़ रहा हैं। इन दिनों क्षेत्र के ग्रामीणों को पानी के लिए दर-दर भटकने की नौबत आन पड़ी है।
ज्ञात हो कि, बारिश के मौसम में जिले में औसतन कम बारिश रिकार्ड दर्ज की गयी। मार्च माह के अंतिम दिनों में ही जिले की जीवनदायिनी नदियां सूखने लगी थी। इसी तरह आरमोरी तहसील के लिए वरदान रहने वाली गाढ़वी व खोब्रागड़ी नदी भी लगभग सूखने की कगार पर है। ग्राम पंचायत प्रशासन ने जलापूर्ति योजना के विकल्प के रूप में गांव में सार्वजनिक कुओं व हैन्डपंप की व्यवस्था कर रखी है, लेकिन कुओं, हैन्डपंप का जलस्तर भी तीव्र गति से घटने के कारण लोगों को पानी की बूंद-बूंद के लिए तरसना पड़ रहा है।
उल्लेखनीय है कि यह क्षेत्र पूरी तरह कृषि प्रधान है। क्षेत्र में किसानों की संख्या काफी मात्रा में हैं। किसानों के पास मवेशी भी बड़ी संख्या में हैं। जलसंकट गहरा जाने के कारण मवेशियों को भी पानी व चारा नहीं मिल रहा है। अप्रैल माह के शुरुआती दिनों में ही भीषण जलसंकट की स्थिति निर्माण होने से आनेवाले दिनों में यह स्थिति और अधिक गंभीर होने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता। स्थानीय गांववासियों ने प्रशासन से समय रहते जलापूर्ति के लिए अन्य विकल्प खोजने की मांग की है।