डीयू : 6 कॉलेजों की गवर्निग बॉडी बनी, अब शिक्षकों को मिलेगी सैलरी

डीयू : 6 कॉलेजों की गवर्निग बॉडी बनी, अब शिक्षकों को मिलेगी सैलरी

IANS News
Update: 2020-10-21 13:31 GMT
डीयू : 6 कॉलेजों की गवर्निग बॉडी बनी, अब शिक्षकों को मिलेगी सैलरी
हाईलाइट
  • डीयू : 6 कॉलेजों की गवर्निग बॉडी बनी
  • अब शिक्षकों को मिलेगी सैलरी

नई दिल्ली, 21 अक्टूबर (आईएएनएस)। दिल्ली विश्वविद्यालय की बुधवार को हुई एक्जीक्यूटिव कांउसिल (ईसी) की मीटिंग में दिल्ली सरकार के 6 वित्त पोषित कॉलेजों की गवनिर्ंग बॉडी के नामों को अनुमति दे दी गई। ये नाम पिछले 7 महीने से विश्वविद्यालय ने रोके हुए थे। दिल्ली टीचर्स एसोसिएशन ( डीटीए ) के हस्तक्षेप के बाद बुधवार को इन नामों को भेज दिया गया।

इन कॉलेजों में गवनिर्ंग बॉडी न बनने के कारण दिल्ली सरकार ने ग्रांट जारी नहीं की थी। जिसके चलते इन सभी कॉलेजों के शिक्षकों एवं गैर शिक्षण स्टाफ को बीते कई महीनों से वेतन नहीं मिल सका है। गवनिर्ंग बॉडी बनने के बाद अब शिक्षकों ने दिल्ली सरकार से तुरंत ग्रांट मिलने की उम्मीद जताई है।

इन 6 कॉलेजों में अदिति कॉलेज, महर्षि वाल्मीकि कॉलेज, कालिंदी कॉलेज, दीनदयाल उपाध्याय कॉलेज ,केशव महाविद्यालय और लक्ष्मीबाई कॉलेज है। लक्ष्मीबाई कॉलेज, कालिंदी कॉलेज और केशव महाविद्यालय में बिना एक सदस्य के गवनिर्ंग बॉडी बना ली है। इसमें दिल्ली सरकार के बाहर के सदस्यों को लेकर गवनिर्ंग बॉडी बनाई गई है। इन गवनिर्ंग बॉडी में चेयरमैन डीयू प्रशासन से बनाया गया है।

दिल्ली टीचर्स एसोसिएशन (डीटीए) के प्रभारी प्रोफेसर हंसराज ने ईसी द्वारा 6 कॉलेजों के नाम भेजे जाने पर खुशी जाहिर की। उन्होंने कहा, जल्द ही इन कॉलेजों में गवनिर्ंग बॉडी बनकर कॉलेज हित में कार्य करे। दिल्ली विश्वविद्यालय में पहली बार ऐसा हुआ है कि ईसी की मीटिंग में 14 मार्च 2020 को 28 कॉलेजों के नामों की लिस्ट पास हुई थी, जिसमें 134 लोगों के नामों को स्वीकृति दे दी गई थी। लेकिन उसमें 6 कॉलेजों के सदस्यों के नामों को रोक दिया गया था।

प्रोफेसर हंसराज ने कहा, दिल्ली सरकार के वित्त पोषित 28 कॉलेजों में से 10 कॉलेजों में अभी तक गवनिर्ंग बॉडी नहीं बनी है। बैठक में गवनिर्ंग बॉडी के सदस्यों के नाम पास हो चुके थे। इनमें से 6 कॉलेजों के 6 सदस्यों पर आपत्ति जताई गई। इसके तीन दिन बाद दिल्ली सरकार ने वाइस चांसलर को और नाम भेज दिए, लेकिन दिल्ली विश्वविद्यालय ने उन नामों को आज तक कॉलेजों को नहीं भेजा है। इससे गवनिर्ंग बॉडी बनने में दिक्कतें आ रही थीं, आज वह सब दिक्कतें समाप्त हो गई।

गौरतलब है कि यह गवनिर्ंग बॉडी 5 महीने ही काम कर पाएगी। वह भी तब जबकि जल्द ही गवनिर्ंग बॉडी बनती है। डीटीए ने कहा कि, डीयू प्रशासन ने शिक्षकों के हितों में फैसला लेते हुए सदस्यों के नामों को भेजकर उन सदस्यों के साथ न्याय किया है।

जीसीबी

Tags:    

Similar News