सीबीएसई-आईसीएसई बोर्ड एग्जाम को लेकर भ्रम

सीबीएसई-आईसीएसई बोर्ड एग्जाम को लेकर भ्रम

Anita Peddulwar
Update: 2020-06-08 08:05 GMT
सीबीएसई-आईसीएसई बोर्ड एग्जाम को लेकर भ्रम

डिजिटल डेस्क, नागपुर। सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकंडरी एजुकेशन बोर्ड (सीबीएसई) और काउंसिल फॉर इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट इक्जामिनेशन (सीआईसीएसई) बोर्ड ने महाराष्ट्र सरकार के उस अनुरोध को ठुकरा दिया है, जिसमें राज्य सरकार ने कोरोना संक्रमण को देखते हुए शेष पेपर रद्द करने की वकालत की थी। दोनों बोर्ड ने राज्य सरकार को जवाब दिया है कि, 1 से 15 जुलाई के बीच देश भर में होने जा रही परीक्षा से महाराष्ट्र के विद्यार्थियों को वंचित नहीं किया जा सकता। राज्य में सीबीएसई 12वीं बोर्ड के 12 हजार और आईसीएसई-आईएससी बोर्ड के 23 हजार विद्यार्थी पंजीकृत हैं। दोनों बोर्ड के परीक्षार्थी नागपुर में भी हैं। सीबीएसई के करीब 2 हजार और आईसीएसई के करीब 500 विद्यार्थी हैं। नागपुर में सिर्फ 12वीं कक्षा की ही परीक्षा होगी, क्योंकि लॉकडाउन के पूर्व 10वीं के सभी पेपर लिए जा चुके थे। नागपुर में करीब 2000 विद्यार्थी यह परीक्षा देंगे।

यह सावधानी बरतनी होगी
सीबीएसई ने साफ किया है कि, परीक्षा के दौरान विद्यार्थियों को कोरोना संक्रमण न हो, इसका ध्यान उनके पालकों को रखना होगा। वे सुनिश्चित करें कि, उनका बच्चा बीमार नहीं है। परीक्षा केंद्र में विद्यार्थी को अपने साथ पारदर्शी बॉटल में सैनिटाइजर लाना अनिवार्य है। उन्हें पूरे समय अपना नाक और मुंह मास्क या कपड़े से ढंक कर रखना होगा। सोशल डिस्टेंसिंग का सख्ती से पालन करना होगा। ऐसे में हाल ही में दोनों पक्षों के बीच हुए संवाद से विद्यार्थियों और पालकों मंे संभ्रम बढ़ गया है। विद्यार्थी असमंजस में हैं कि, परीक्षा होगी या नहीं।

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