इलेक्ट्रॉनिक विनिर्माण को बढ़ावा देने वाली योजनाओं को मिली मंजूरी

Schemes to promote electronic manufacturing got approval
इलेक्ट्रॉनिक विनिर्माण को बढ़ावा देने वाली योजनाओं को मिली मंजूरी
इलेक्ट्रॉनिक विनिर्माण को बढ़ावा देने वाली योजनाओं को मिली मंजूरी
हाईलाइट
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नई दिल्ली, 21 मार्च (आईएएनएस)। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों, सेमीकंडक्टर और मोबाइल सेगमेंट विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए बड़े फैसले लिए हैं।

मंत्रिमंडल ने शुक्रवार को हुई बैठक में इलेक्ट्रॉनिक कंपोनेंट एंड सेमीकंडक्टर (एसपीईसीएस) और इलेक्ट्रॉनिक मेनुफैक्चरिंग कलस्टर्स (ईएमसी) 2.0 को बढ़ावा देने के लिए प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव स्कीम (पीएलआई) योजना को मंजूरी दी।

एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि पीएलआई योजना घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देगी और इसके साथ ही मोबाइल फोन विनिर्माण और इलेक्ट्रॉनिक्स उपकरणों में भारी निवेश को भी बढ़ावा मिलेगा।

इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने बताया कि इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्च रिंग के लिए तीन स्कीम के तहत फंड तय किए गए हैं। पहली स्कीम के तहत भारत में इलेक्ट्रॉनिक्स वस्तुओं के उत्पादन को प्रोत्साहित करने के लिए प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव दिए जाएंगे। इस मद में सरकार ने 40,995 करोड़ रुपये का फंड रखा है।

इलेक्ट्रॉनिक्स से जुड़ी दूसरी स्कीम इलेक्ट्रॉनिक कंपोनेंट व सेमीकंडक्टर के मैन्युफैक्च रिंग प्रोत्साहन से जुड़ी है। इस मद में सरकार 3285 करोड़ रुपये की सहायता देगी। इसके तहत कंपोनेंट व सेमीकंडक्टर के निर्माण के लिए जो पूंजीगत निवेश होगा, उस पर सरकार 25 फीसदी की वित्तीय सहायता देगी।

इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्च रिंग की तीसरी स्कीम के तहत इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्च रिंग क्लस्टर का निर्माण होगा। इस मद में 3762 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। क्लस्टर में एक बड़ी कंपनी होगी और बाकी की छोटी-छोटी कंपनियां होंगी।

Created On :   21 March 2020 9:30 PM IST

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