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एक सप्ताह में तीन खदानों को चोरों ने बनाया निशाना

-ककरी में गार्ड को बांध कर काटा केबिल, खडिय़ा व निगाही में भी की वारदात
डिजिटल डेस्क सिंगरौली (मोरवा) । एनसीएल की कोयला खदानों में केबिल कटिंग की वारदातें थमने का नाम नहीं ले रही हैं। 15-20 की संख्या में धावा बोलकर कबाड़ चोरों ने ककरी खदान में एक गार्ड को पकड़कर बांध दिया। निजी सुरक्षा एजेंसी के गार्ड परमाराम के साथ मारपीट की और साउथ पम्प हाउस के पास से लगभग 60 मीटर केबिल काट कर ले गये। गार्ड की प्वाइंट्स पर मौजूदगी का संकेत न मिलने पर सुरक्षा प्रभारी नारायण यादव एजेंसी के अन्य गार्डो के साथ खदान क्षेत्र में पहुंचे और चोट खाए गार्ड को साथ लेकर उपचार के लिए पहुंचाया। मंगलवार की रात चोरों ने ककरी खदान में जमकर उत्पात मचाया तो उसी रात खडिय़ा खदान में भी शॉवेल से लगभग 100 मीटर केबल काट कर ले गये। इससे पहले चोरों ने निगाही खदान के शॉवेल से लगभग 60-70 मीटर केबल काट कर ले गये थे। जिसकी जानकारी पर परियोजना प्रबंधन ने सुरक्षा एजेंसियों को केबिल की कीमत कटौती करने के फरमान सुना दिया है। खदानों में कॉपर केबिल कङ्क्षटग होने की वारदातों को लेकर आए दिन हो रही वारदातों को लेकर निजी सुरक्षा एजेंसियां भी संदेह के घेरे में हैं। जिनका प्रबंधन स्थानीय लोगों ने अपने हाथों में ले रखा है। लगातार हो रही चोरियों पर लगाम लगाने के लिए एनसीएल का अपना तंत्र नाकाफी है। एनसीएल की परियोजनाओं में कार्मिक प्रबंधकों को उनकी मानिटरिंग और मैदान में एक एक इंस्पेक्टर लगा रखा है। उनकी मदद के लिए दो चार जवान भी हैं। एनसीएल के पास अपने जवान नहीं हैं। एक सप्ताह से लगातार हो रही चोरियों को लेकर सूत्रों का कहना है कि कोई गैंग झिंगुरदह टिप्पा झरिया के पास आकर डेरा डाले हुए है। जिसमें 15-20 युवक पूरे दिन खदानों के अंदर घूम कर कॉपर के बिल की निशानदेही करते हैं और रात में उन्हीं स्थानों में पहुंच कर चोरियां करते हैं। लगातार वारदातों को अंजाम देने वाला गैंग कई स्थानों से काटा हुआ केबिल ले जाने में कामयाब हो गया तो कई स्थानों पर छोड़कर भाग गया। लेकिन इतना जरूर है कि हर घटना में एनसीएल को भारी नुकसान से गुजरना पड़ता है।
सरगना के इशारे पर चल रहा कार्य
बीते दिनों खदान एरिया में पकड़े गये एक कबाड़ चोर ने मोरवा में रहने वाले किसी सरगना के इशारे पर कॉपर केबल की चोरी करना स्वीकार किया था। जो उन्हें दूरदराज से बुलाता है और कॉपर केबिल को काटकर उसकी इंसुलेशन को वहीं पर छीलकर फें क देने के बाद वजन के हिसाब से पैसे देने की बात सामने आयी। सूत्रों का कहना है कि हनुमान मंदिर क्षेत्र में इस प्रकार के सरगना दर्शन करने के बहाने लक्जरी गाडिय़ों से जातेे हैं और तांबा लेकर अपने ठिकाने में जमा कर देते हैं।
संगठित तरीके चल रहा गोरखधंधा
सूत्रों का कहना है कि खदानों से सिर्फ कॉपर के केबल कटने की वारदातें हो रही हैं। बीते दिनों एक कबाड़ व्यवसायी को यूपी में कार से कॉपर ले जाते हुए पकड़ा गया था। उसी प्रकार का गोरखधंधा एक बार फिर शुरू हो गया है। कम्पनी की सम्पतियों को नुकसान पहुंचाने से बचाने के लिए हर महीनें लाखों रूपये निजी सुरक्षा एजेंसियों पर खर्च कर रही है। तो दूसरी तरफ जरायम पेशा अपने गोरखधधों को अंजाम देने से बाज नहीं आ रहे हैं। कबाड़ के नाम पर हो रही केबल की चोरी को लेकर संबंधित थानों में एफआईआर तक नहीं लिखाई जा रही है।
इनका कहना है
चोरियों पर अंकुश लगाने के लिए एनसीएल को सुरक्षा गार्ड की भर्ती करनी होगी। निजी सुरक्षा कम्पनियों पर कागजी निर्देश चलते हैं, उनके पीछे कई और लोग होते हंै। एनसीएल को सभी खदानों की सुरक्षा सीआईएसएफ के हवाले कर देनी चाहिए। तभी चोरियों पर अंकुश लगाया जा सकता है। ... पीएस पांडेय, रीजनल सेके्रटरी सीटू
चोरी की वारदातों की जानकारी मिली है, इंक्वायरी की जा रही है। जो भी डैमेज और लॉस हुए हैं उसकी रिकवरी संबंधित निजी सुरक्षा एजेंसी से की जायेगी। नुकसान की भरपायी एजेंसी से करने के साथ यदि उनकी तरफ से लापरवाही साबित होती है तो कार्रवाई की जायेगी।
.... राम विजय सिंह, पीआरओ एनसीएल
Created On :   29 Aug 2020 6:13 PM IST