Ashwin Maas 2020: जानें अश्विन मास का महत्व, इन बातों का रखें ध्यान

Ashwin Maas 2020: know the importance of this month
Ashwin Maas 2020: जानें अश्विन मास का महत्व, इन बातों का रखें ध्यान
Ashwin Maas 2020: जानें अश्विन मास का महत्व, इन बातों का रखें ध्यान

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हिन्दू कैलेंडर के सातवें माह अश्विन का सनातन धर्म में बड़ा महत्व है। वैसे तो हर माह में कई सारे व्रत और त्यौहार आते हैं। वहीं अश्विन मास के दौरान शुभ कार्यों जैसे विवाह, नया घर खरीदने और गृह प्रवेश जैसी चीजों की मना ही होती है। कहा जाता है कि मलमास में शुभ और मांगलिक कार्यों को नहीं किया जाना चाहिए। बता दें कि इस माह को अधिक मास और पुरूषोत्तम मास के नाम से भी जाना जाता है। 

अश्विन मास आज 3 सितंबर से शुरू हो चुका है और 31 अक्टूबर तक रहेगा। हिंदू पंचांग के अनुसार, 18 सितंबर से 16 अक्टूबर तक मलमास रहेगा। इस माह को दान-धर्म की दृष्टि से महत्वपूर्ण माना जाता है। आइए जानते हैं इस माह के बारे में...

तिथियों की घट-बढ़ के बावजूद 16 दिन के रहेंगे श्राद्ध, पूर्वजों की तृप्ति के लिए तर्पण

महत्व
अश्विन माह के कृष्णपक्ष की प्रतिपदा से अमावस्या तक पिृतपक्ष में पितरों का श्राद्ध और तर्पण किया जाता है। इससे पूर्वजों की आत्मा को शांति और मुक्ति मिलती है और उनका भी आशीर्वाद बना रहता है। पिृतपक्ष में पिंडदान करने और ब्रह्मभोग खिलाने से पितरों की आत्मा तृप्त होती है।

करें दान धर्म
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, यदि जातक अश्विन मास में दान-धर्म करता है तो उसे दोगुने पुण्य फल की प्राप्ति होती है। दान-धर्म से ग्रहों का प्रभाव अच्छा होता है और देवी-देवताओं की भी कृपा बनी रहती है। इससे जातक के जीवन में सुख, शान्ति, ऐश्वर्य और वैभव बना रहता है। मान्यताओं के अनुसार, अश्विन मास में तिल और घी दान करने से भी बड़ा पुण्यफल मिलता है।

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इन बातों का रखें ध्यान
- इस मास में दूध का उपयोग नहीं किया जाना चाहिए। 
- जहां तक सम्भव हो, करेला भी न खाएं
- इस माह में धूप में घूमने से बचना चाहिए।
- इस माह में शरीर को ढंक कर रखें
- इस माह से हलके गुनगुने पानी से स्नान कर सकते हैं
- त्वचा की और इन्फेक्शन वाली बीमारियों से बचने का प्रयास करें
- इस माह में सूर्य उपासना करें ये लाभकारी होगी

Created On :   3 Sep 2020 10:36 AM GMT

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