लोक गायिका शारदा सिन्हा की पहली पुण्यतिथि पर पीएम मोदी ने दी भावभीनी श्रद्धांजलि

लोक गायिका शारदा सिन्हा की पहली पुण्यतिथि पर पीएम मोदी ने दी भावभीनी श्रद्धांजलि
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को बिहार कोकिला शारदा सिन्हा की पहली पुण्यतिथि पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि दी। पीएम मोदी ने कहा कि शारदा सिन्हा के महापर्व छठ से जुड़े उनके सुमधुर गीत हमेशा जनमानस में रचे-बसे रहेंगे।

नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को बिहार कोकिला शारदा सिन्हा की पहली पुण्यतिथि पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि दी। पीएम मोदी ने कहा कि शारदा सिन्हा के महापर्व छठ से जुड़े उनके सुमधुर गीत हमेशा जनमानस में रचे-बसे रहेंगे।

पीएम मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया कि बिहार कोकिला शारदा सिन्हा की पहली पुण्यतिथि पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि। उन्होंने बिहार की कला-संस्कृति को लोकगीतों के माध्यम से एक नई पहचान दी, जिसके लिए उन्हें सदैव याद किया जाएगा। महापर्व छठ से जुड़े उनके सुमधुर गीत हमेशा जनमानस में रचे-बसे रहेंगे।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक्स पोस्ट में लिखा कि बिहार कोकिला, पद्म श्री एवं पद्म भूषण से सम्मानित शारदा सिन्हा की पुण्यतिथि पर उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि। शारदा सिन्हा के छठ महापर्व पर सुरीली आवाज में गाए मधुर गीत बिहार समेत देश के सभी भागों में आज भी गूंजा करते हैं। बिहार की भूमि, संगीत जगत और संगीत प्रेमियों में उनकी स्मृति हमेशा रहेगी।

केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक्स पर पोस्ट किया कि पद्म विभूषण से सम्मानित, सुप्रसिद्ध लोक गायिका, 'बिहार कोकिला' श्रद्धेय शारदा सिन्हा की पुण्यतिथि पर शत-शत नमन करता हूं। शारदा सिन्हा की मधुर आवाज ने न केवल भोजपुरी संगीत को विश्व भर में पहचान दिलाई, अपितु भारतीय लोक संस्कृति को भी समृद्ध किया। छठ महापर्व उनके गीतों के बिना अधूरा है, उनकी आवाज की झंकार सदैव हमारी स्मृतियों में गूंजती रहेगी।

दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने एक्स पर पोस्ट किया कि मैथिली और भोजपुरी लोकगीतों की अमर साधिका, भारत की लोक संस्कृति की स्वर देवी 'पद्म भूषण' श्रद्धेय शारदा सिन्हा को उनकी पुण्यतिथि पर कोटि-कोटि नमन। आपकी मधुर आवाज ने लोकगीतों को जन-जन के हृदय तक पहुंचाया और भारतीय संस्कृति को एक नई ऊंचाई प्रदान की।

आपने अपने सुरों से पर्वों, परंपराओं और मातृभूमि की मिट्टी की महक को अमर कर दिया। आज भी आपके गीत लोकसंस्कृति और पर्व की आत्मा हैं, जो यह दर्शाता है कि आपकी कला केवल संगीत नहीं, अपितु हमारी सांस्कृतिक चेतना की धुरी है।

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Created On :   5 Nov 2025 11:23 AM IST

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