नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले को 20 साल का सश्रम कारावास

20 years rigorous imprisonment for raping minor
नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले को 20 साल का सश्रम कारावास
अमरावती नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले को 20 साल का सश्रम कारावास

डिजिटल डेस्क, अमरावती । नांदगांव पेठ थाना क्षेत्र में दो वर्ष पूर्व नाबालिग पर हुए लैंगिक अत्याचार के मामले में स्थानीय जिला व सत्र न्यायाधीश (2) विशाल एस. गायके की अदालत ने इस प्रकरण में आरोपी शरद महादेव मानकर को दोषी करार देते हुए 20 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। जानकारी के मुताबिक 27 नवंबर 2020 को पीड़िता की मां ने नांदगांव पेठ थाने में शिकायत दर्ज कर आरोप लगाया था कि 25 नवंबर को सुबह 7 बजे वह अपने पति के साथ मजदूरी के  के लिए बाहर गई थी तब घर में दो छोटे बच्चे मौजूद थे। बड़ी बेटी भी खेत में काम पर गई थी। वह शाम को काम से घर लौटी तब उसकी नाबालिग बेटी ने पेट में तकलीफ होने की बात कही। जब उससे पूछताछ की गई तब बताया कि वह दोपहर 3 बजे अपनी सहली के घर खेलने गई थी तब आरोपी शरद मानकर ने उसके साथ लैंगिक अत्याचार करने का प्रयास किया।

शिकायत के आधार पर पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धारा 376, 3 (ब) तथा पोक्सो की धारा 4, 6 व एट्रासिटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। घटना के समय पीड़िता केवल 9 वर्ष की थी। मामले की जांच पूर्ण कर पुलिस ने चार्जशीट अदालत में दाखिल की। जिला व सत्र न्यायाधीश (2) विशाल गायकी अदालत में चली सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से सहायक सरकारी वकील दिलीप देविदप्रसाद तिवारी ने कुल 6 गवाहों को परखा। दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने आरोपी शरद मानकर को पोक्सो की धारा 4 के तहत 20 साल सश्रम कारावास तथा 10 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना अदा न करने पर 6 माह अतिरिक्त कारावास तथा पोक्सो की धारा 6 के तहत 20 साल सश्रम कारावास और 10 हजार रुपए जुर्माना अन्यथा 6 माह अतिरिक्त कारावास की सजा सुनाई।  यह दोनों सजा आरोपी को एक साथ भुगतना पड़ेगा। इस प्रकरण की जांच सहायक निरीक्षक कविता पाटील ने और सहायक आयुक्त सोहेल नुर मोहम्मद शेख ने की थी। पैरवी अधिकारी के रूप में पुलिस जवान चैतन्य बंदिवान, संतोष चव्हाण और अरूण हटवार ने काम संभाला। 
 

Created On :   12 May 2022 1:42 PM IST

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