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फिल्मों की शूटिंग से मध्य रेलवे ने कमाए 2 करोड़ 48 लाख

डिजिटल डेस्क, मुंबई। हमारी फिल्मों की कहानियों में आम आदमी की जिंदगी दिखाई देती रहती है और भारतीय रेल आम आदमी की जिंदगी का अभिन्न हिस्सा है। इस लिए फिल्मों की शूटिंग से रेलवे को हर साल करोड़ों रुपयों की कमाई होती है। वर्ष 2021-22 के दौरान मध्य रेलवे ने फिल्मों की शूटिंग से 2 करोड़ 48 लाख रुपए कमाए हैं। यह किसी भी वित्तीय वर्ष में मध्य रेल द्वारा अर्जित अब तक का सबसे अधिक राजस्व है। इस दौरान लगभग 10 फिल्मों की शूटिंग की गई हैं, जिसमें 6 फीचर फिल्में, दो वेब सीरीज, एक लघु फिल्म और विभिन्न फिल्म निर्माताओं और प्रोडक्शन हाउस द्वारा विभिन्न मध्य रेल स्थानों तैयार की गई विज्ञापन फिल्में शामिल हैं।
मध्य रेल ने मुख्य जनसम्पर्क अधिकारी शिवाजी सुतार ने बताया कि 18 दिनों के लिए विशेष ट्रेन की शूटिंग के साथ येओला, कान्हेगांव स्टेशनों पर फिल्माई गई फीचर फिल्म ‘2 ब्राइड्स" से सर्वाधिक 1.27 करोड अर्जित मिले हैं। दूसरी एक और फीचर फिल्म की शूटिंग विभिन्न रेलवे स्टेशन पर 9 दिनों तक विशेष ट्रेन के साथ हुई।इससे रेलवे को 65.95 लाख रुपए मिले। इस वित्तीय वर्ष के शुरुआती 6 महीनों में कोविड प्रतिबंधों के बावजूद, मध्य रेल ने अपनी निर्बाध प्रक्रिया के साथ प्रोडक्शन हाउस को फिल्म शूटिंग के लिए अपने स्थान का उपयोग करने के लिए आकर्षित किया है और यह रिकॉर्ड राजस्व अर्जित किया है। इसके पहले वर्ष 2013-14 में सर्वाधिक 1.73 करोड़ रुपए मध्य रेलवे को फिल्मों की शूटिंग से मिले थे। इस बार रेलवे ने 2 करोड़ 48 लाख की कमाई कर अपना पूराना रिकार्ड तोड़ दिया है। कोरोना के चलते 2020-21 के दौरान कम फिल्मों की शूटिंग हो पाई थी इससेमध्य रेलवे को केवल 41.16 लाख रूपये का राजस्व मिला था।
फिल्म निर्माताओं को खूब भाता है छत्रपति शिवाजी टर्मिनस
यूनेस्को की विश्वविरासत में शामिल छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस फिल्म निर्माता-निर्देशकों को फिल्मों की शूटिंग के लिए खूब भाता है। इस साल इस विश्व धरोहर रेल स्टेशन पर 4 फिल्मों की शूटिंग की गई है, जिसमें अरशद वारसी और चित्रांगदा सिंह अभिनीत फिल्म ‘मोडर लव - कटिंग चाय" भी शामिल है। इसके अलावा पुराना वाडी बंदर यार्ड, सतारा के पास अदरकी रेलवे स्टेशन, येओला, मनमाड और अहमदनगर के बीच कान्हेगांव स्टेशन, दादर, मुलुंड आरपीएफ ग्राउंड और हिल स्टेशन माथेरान रेलवे स्टेशन पर भी फिल्मों की खूब शुटिंग होती है। मध्य रेलवे के महाप्रबंधक अनिल कुमार लाहोटी ने कहा, "छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस रेलवे स्टेशन, पुराने वाडी बंदर यार्ड, वठार (सतारा के पास) और आप्टा स्टेशन (पनवेल क्षेत्र में) जैसे हमारे लोकप्रिय स्थानों और बिना किसी परेशानी के प्रोडक्शन हाउस को अनुमति देने की पहल के चलतेमध्य रेलवे ने शूटिंग से कमाई का रिकॉर्ड बना सका है।
मध्य रेलवे के मुख्य जनसम्पर्क अधिकारी श्री सुतारके मुताबिक "कई बॉक्स ऑफिस हिट फिल्मों की शूटिंग मध्य रेल पर हुई, इनमें स्लम डॉग मिलियनेयर, कमीने, रब ने बना दी जोड़ी, रा-वन, रावण, प्रेम रतन धन पायो, दिलवाले दुलानिया ले जाएंगे, कुछ कुछ होता है, दबंग, दरबार, रंग दे बसंती, बागी, खाकी जैसी फिल्में शामिल हैं।उन्होंने बताया कि हाल ही में फिल्म शूटिंग की अनुमति में तेजी लाने के लिए, एक एकल खिड़की प्रणाली शुरू की गई है, प्रक्रिया का यह सरलीकरण फिल्म कंपनियों को आवश्यकताओं का उल्लेख करते हुए स्क्रिप्ट और आवेदन के साथ आवश्यक दस्तावेज प्रस्तुत करने के बाद अनुमति प्राप्त करने में सक्षम करेगा।
नकली रेलवे स्टेशन-ट्रेन से घटी कमाई
हालांकि पिछले कुछ सालों में स्टूडियों में तैयार नकली रेलवे स्टेशन सेट और ट्रेन के नकली डिब्बों से शूटिंग के चलते फिल्मों से रेलवे की कमाई घटी थी। रेल अधिकारियों के मुताबिक स्टूडियों में तैयार किए गए नकली रेलवे स्टेशन पर शूटिंग के लिए रेलवे के मुकाबले काफी कम पैसे देने पड़ते हैं। इसके अलावा वहां शूटिंग भी ज्यादा सुविधाजनक होती है। एक अधिकारी ने बताया कि स्टूडियों में तैयार नकली स्टेशन शूटिंग के लिए 10 से 20 हजार रुपए के किराए पर मिल जाता है लेकिन रेलवे इसके लिए लाखों रुपए किराया वसूलती है।हालांकि बड़े फिल्मकार और निर्माता नकली सेट पर बनाए गए रेलवे स्टेशनों का इस्तेमाल नहीं करते क्योंकि वे वास्तविक लोकेशन के जरिए दृश्यों को ज्यादा विश्वसनीय बनाना चाहते हैं।
Created On :   12 March 2022 7:02 PM IST