कोर्ट ने कहा- संदेह है तो पीएम केयर्स फंड में न दें दान

डिजिटल डेस्क, नागपुर। पीएम केयर्स फंड कानून अंतर्गत पंजीयन है। संकट काल में नागरिकों द्वारा स्वेच्छा से उसमें दान दिया जाता है। जिस किसी को पीएम केयर्स फंड के इस्तेमाल को लेकर संदेह है और उन्हें निधि का विनियोग किस प्रकार किया गया है, इसका खुलासा चाहिए तो उन्हें दान नहीं करना चाहिए। सार्वजनिक संस्था की ओर नजरअंदाज करने का यह सीधा और सरल मार्ग है। यह मत व्यक्त कर उच्च न्यायालय की नागपुर खंडपीठ ने पीएम केयर्स फंड के संदर्भ में दायर याचिका खारिज कर दी।
हिसाब दें : एड. अरविंद वाघमारे ने यह याचिका दाखिल की थी। याचिकाकर्ता के अनुसार, फंड में भेजी गई राशि का कोई हिसाब नहीं है। इसलिए कैग द्वारा ऑडिट (अंकेक्षण) कराया जाए, लेकिन यह मांग न्यायालय ने खारिज कर दी। दिल्ली के निजी लेखापाल कंपनी को अंकेक्षण के लिए नियुक्त करने की जानकारी सामने आई थी। इस मुद्दे पर न्यायालय में युक्तिवाद हुआ। न्यायालय ने 20 अगस्त को प्रकरण पर निर्णय आरक्षित रखा था। इस पर गुरुवार को न्या. सुनील शुक्रे और न्या. अनिल किलोर ने सुनवाई कर याचिका खारिज कर दी।
Created On :   28 Aug 2020 9:59 AM IST