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जीएसटी के भुगतान में देरी से वेतन प्रणाली प्रभावित

डिजिटल डेस्क, अमरावती। राज्य सरकार की ओर से अमरावती महानगरपालिका को प्रतिवर्ष 14 करोड़ रुपए जीएसटी के भुगतान के तौर पर दिए जाते हैं। इसी रकम के जरिए मनपा अपने स्थायी कर्मचारियों का वेतन भुगतान करती है। लेकिन पिछले वित्तीय वर्ष में संपूर्ण राशि का भुगतान न होने की वजह से मनपा के वेतन संबंधित मनपा कर्मचारियों का वेतन भुगतान व महंगाई भत्ता तथा अन्य तरह की सुविधाएं प्रभावित हो रही हैं। साथ ही जीएसटी की बची हुई रकम का उपयोग जिन कार्यों के लिए किया जाता है वह भी पूरे नहीं हो पा रहे है।
वित्तीय वर्ष 2021-22 में अमरावती मनपा को कुल 14 करोड़ 21 लाख रुपए जीएसटी के भुगतान के तौर पर राज्य सरकार द्वारा दिए जाने थे। लेकिन इस दौरान केवल 8 करोड़ 59 लाख रुपए ही मनपा को सौंपे गए। जबकि कर्मचारियों के वेतन में खर्च होने वाली राशि 6 करोड़ 45 लाख रुपए बताई जाती है। 1 जनवरी 2021 से 7 वें वित्तीय आयोग लागू होने से वेतन खर्च में भी बढ़ोत्तरी होना है। मनपा की स्थानीय आमदनी काफी कम होने की वजह से अधिकतर निर्भरता राज्य सरकार की ओर से मिलने वाली सहायता पर होती है। ऐसे में अनुदान में देरी होने से कर्मचारियों के वेतन सहित बिलों का भुगतान भी प्रभावित हो जाता है।
राज्य सरकार द्वारा चार दिन पहले ही पिछले वर्ष की जीएसटी की बकाया राशि से 1 करोड़ 23 लाख रुपए भेजे गए हैं। जिसकी वजह से कर्मचारियों का बकाया वेतन व महंगाई भत्ता दिया जा सका है। लेकिन अब भी जीएसटी के तहत मिलने वाले करीब 5 करोड़ रुपए बकाया है। इसके लिए मनपा प्रशासन सहित कर्मचारी संगठनाें द्वारा भी राज्य सरकार को लगातार पत्र भेजे जा रहे हैं। मनपा की ओर से निधि के अभाव की वजह से सुरक्षा रक्षकों का भुगतान भी नहीं हो सका है। कर्मचारी संगठनाें ने राज्य सरकार से बकाया अनुदान जल्द से जल्द भेजने का अनुरोध किया है।
Created On :   17 Dec 2021 1:40 PM IST