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मेडिकल कॉलेज में जिला अस्पताल के डॉक्टर करेंंगे इमरजेंसी ड्यूटी

डिजिटल डेस्क छिंदवाड़ा। जिले में मेडिकल कॉलेज की शुरूआत होने पर जिला अस्पताल में पदस्थ सीनियर व जूनियर डॉक्टर ही इमरजेंसी ड्यूटी करेंगे। इस संबंध में मेडिकल कॉलेज प्रबंधन ने शुक्रवार को एक आदेश जारी कर सभी विभागों के चिकित्सकों और चिकित्सा विशेषज्ञों को मेडिकल कॉलेज का जूनियर व सीनियर रेसिडेंस बनाया है। मेडिकल कॉलेज की शुरूआत में केवल एमबीबीएस प्रथम वर्ष के छात्र ही कॉलेज में रहेंगे। इन हालतों में मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी ड्यूटी का जिम्मा जिला चिकित्सालय के सभी चिकित्सकों को सौंपा गया है। मेडिकल कॉलेज में पांच साल का पहला बैच निकलते तक जिला अस्पताल के चिकित्सक ही जूनियर रेसिडेंस और सीनियर रेसिडेंस की भूमिका मेें रहेंगे और मेडिकल कॉलेज में अपनी सेवाएं देंगे।मेडिकल कॉलेज में पांच साल का पहला बैच निकलते तक जिला अस्पताल के चिकित्सक ही जूनियर रेसिडेंस और सीनियर रेसिडेंस की भूमिका मेें रहेंगे और मेडिकल कॉलेज में अपनी सेवाएं देंगे।
हर विभाग में रहेगी चिकित्सकों की ड्यूटी
जिला चिकित्सालय में वर्तमान में आकस्मिक सेवाओं के लिए केवल एक चिकित्सक तैनात होता है और अत्यधिक आवश्यक होने पर ही संबंधित विशेषज्ञ को कॉल पर बुलाया जाता है। कई बार ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक ही मरीज को नागपुर रेफर कर देता है। लेकिन मेडिकल कॉलेज में हर विभाग में इमरजेंसी ड्यूटी लगाई जाएगी। मेडिकल के सभी विभागों में चिकित्सक इमरजेंसी सेंवाए देंगे और जरूरत पडऩे पर तत्काल सीनियर रेसिडेंस, लेक्चरार और प्रोफेसर को मरीज के इलाज के लिए बुलाया जाएगा। मेडिकल में एक साथ लगभग 13 विभागों मेें इमरजेंसी ड्यूटी लगाई जाएगी।
इनका है कहना--
जब तक मेडिकल कॉलेज का पहला बैच नही निकल जाता, तब तक जिला अस्पताल के चिकित्सकों को आकस्मिक सेवाएं देनी पड़ सकती है। इसके लिए आदेश जारी हुए हैं। यह सेवाएं मेडिकल कॉलेज शुरू होने के बाद से दी जाएंगी।मेडिकल कॉलेज में पांच साल का पहला बैच निकलते तक जिला अस्पताल के चिकित्सक ही जूनियर रेसिडेंस और सीनियर रेसिडेंस की भूमिका मेें रहेंगे और मेडिकल कॉलेज में अपनी सेवाएं देंगे।
डॉ सुशील दुबे, आरएमओ जिला अस्पताल
Created On :   20 March 2018 2:13 PM IST