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चार बच्चों की जान लेने वाला तेंदुआ दो माह बाद फंसा जाल में, रखे गए थे सात पिंजरे

डिजिटल डेस्क छिंदवाड़ा। तामिया और परासिया के लगभग 25 गांवों में आतंक का पर्याय बना आमदखोर तेंदुआ आखिरकार वन विभाग के बिछाए जाल में फंस गया। शुक्रवार सुबह परासिया वनपरिक्षेत्र के मोदेढाना से चार किलोमीटर दूर लोहारी में रखे गए पिंजरे में कैद हुआ। वन विभाग का दावा है कि यह वही तेंदुआ है जिसने मोदेढाना में सात फरवरी को दस वर्षीय बालक को अपना शिकार बनाया था। इससे पहले मोहलीमाता, बिजोरीपठार और झिरपानी में भी इसी तेंदुए ने तीन बच्चों को अपना निवाला बनाया था। पकडऩे जाने के बाद अब वन विभाग उसके ट्रीटमेंट की तैयारी में है। वन अधिकारियों के मुताबिक चीफ वाइल्ड लाइफ वार्डन भोपाल के मार्गदर्शन पर तेंदुए को छोड़ा जाएगा। कहां छोड़ा जाना है यह भी भोपाल से ही तय होगा।
50 कैमरे, 250 कर्मचारी भी नहीं तलाश पाए थे
एक दिन में दो बच्चों का शिकार करने के बाद हरकत में आए वन विभाग ने तेंदुए की तलाश में तीनों वनमंडलों के लगभग 250 कर्मचारियों को जंगल में उतार दिया था। यही नहीं तेंदुए की पहचान के लिए 50 कैमरे और 7 पिंजरे लगाए गए थे। बावजूद इसके तेंदुए की पहचान नहीं हो पाई थी।
पिंजरे में बांधी गई थी बकरी-
परासिया के ग्राम मोदेढाना में दस वर्षीय बच्चे का शिकार होने के बाद वन विभाग ने मोदेढाना समेत आसपास के क्षेत्रों में पिंजरे लगाए गए थे। जिस पिंजरे में तेंदुए को कैद किया गया था। उसमें विभाग ने चारे के रूप में बकरी के बच्चे को बांधा गया था। जिसकी आवाज सुन तेंदुआ पिंजरे तक पहुंचा और शिकार के दौरान पिंजरे में कैद हो गया।
चार बच्चों की जान ली, बछड़े और बकरी का शिकार
- पहली घटना-7 जनवरी की दोपहर एक बजे तामिया के ग्राम मोहलीमाता से लगे जंगल में पांच वर्षीय कल्पना पर हमला।
दूसरी घटना- 7 जनवरी को ही मोहलीमाता से चार किमी दूर बिजोरीपठार में रात आठ बजे आंगन में खेल रहे 10 वर्षीय हर्षेश पर हमला।
तीसरी घटना -9 जनवरी को झिरपानी में मां के पीछे खेत जा रहे पांच साल के सावन शा पर हमला, तेंदुए ने 70 प्रतिशत हिस्सा खा लिया।
चौथी घटना -10 जनवरी की रात मोरढाना स्थित खेत में बने कोठे में बंधे बछड़े का तेंदुए ने शिकार कर आधा हिस्सा खा लिया।
पांचवीं घटना- 16 जनवरी की रात बुरलीयलढाना में कोठे में बंधी बकरी का शिकार किया था।
छठवीं घटना- 7 फरवरी की शाम सात बजे मोदेढाना में 10 वर्षीय पूनम पिता मेमदास का शिकार।
क्या कहते हैं अधिकारी-
लोहारी में रखे गए पिंजरे में आदमखोर तेंदुआ कैद हो गया है। तेंदुए को परासिया लाया गया है ट्रीटमेंट के बाद चीफ वाइल्ड लाइफ वार्डन के निर्देश पर तेंदुए को छोड़ा जाएगा।
- अनादि बुधोलिया, एसडीओ, परासिया




Created On :   16 March 2018 3:04 PM IST