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MLA होस्टल के क्वारंटाइन सेंटर 24 घंटे में बदला ठेकेदार, हालत जस की तस

डिजिटल डेस्क, नागपुर। चाय-नाश्ता, भोजन को लेकर हुए हंगामे को देखते हुए मनपा ने भोजन आपूर्ति करने वाले ठेकेदार को 24 घंटे के अंदर बदल दिया। फिर भी परेशानी से पीछा नहीं छूटा। नए ठेकेदार ने सोमवार से कार्य प्रारंभ किया। पर परेशानी वही रही। समय से न चाय दे पाया, न नाश्ता। भोजन की भी आपूर्ति विलंब से हुई। विधायक निवास में क्वारंटाइन लोगों को सोमवार को भी धैर्य जवाब दे गया और अपने-अपने कमरे से बाहर निकल आए और जमकर हंगामा किया। दोपहर 3 बजे हुए हो-हल्ला में 100 से ज्यादा लोगों के इकट्ठा होने की सूचना से ही प्रशासन के हाथ-पांव फूल गए। मनपा, जिला व पुलिस प्रशासन के अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर मामला शांत कराया।
मनपा आयुक्त ने बदल दिया है भोजन देने वाला पहला ठेकेदार
मनपा ने रेट ज्यादा होने से भोजन आपूर्ति का ठेका एक अन्य व्यक्ति को दिया था। पहले ही दिन चाय-नाश्ता व भोजन समय पर नहीं पहुंचने से लोग नाराज हुए थे। भोजन की गुणवत्ता ठीक नहीं होने का आरोप लगाकर लोगों ने रविवार को जमकर हंगामा किया था। अधिकारियों ने रात को ठेकेदार बदलकर भोजन आपूर्ति की जिम्मेदारी नए व्यक्ति को दी। सोमवार को नए ठेकेदार ने चाय-नाश्ता सुबह 9.30 बजे पहुंचाया। दोपहर का भोजन तीन किस्तों में पहुंचा। दोपहर 2.30 बजे, इसके बाद 3 बजे व 3.30 बजे। समय पर भोजन नहीं पहुंचने से नाराज लोग दोपहर 3 बजे के बाद कमरे से बाहर परिसर में आए और हंगामा करने लगे।
समय से दूध नहीं मिला तो बिलखते रहे बच्चे
बच्चों को दूध व बिस्कुट नहीं मिलने के कारण महिलाएं ज्यादा आक्रोशित थीं। महिलाआें का कहना था कि कम से कम बच्चों का तो ख्याल करना चाहिए। अतिरिक्त मनपा आयुक्त राम जोशी, एसडीआे शेखर घाडगे व सीताबर्डी के थानेदार राजपूत सदल बल मौके पर पहुंचे। लोग देरी से व किस्तों में भोजन पहुंचाने को लेकर विरोध जताया। अधिकारियों ने आगे से ऐसी लापरवाही नहीं होने का भरोसा दिया और बच्चों को तुरंत दूध और बिस्कुट का इंतजाम कराया गया। पुलिस के दो दर्जन जवानों ने मोर्चा संभाला आैर सभी को शांत करके वापस कमरे में भेजा। एक जगह ज्यादा लोग जमा होने से कोरोना संक्रमण का खतरा होता है।
पिछले दो-तीन दिन से आमदार निवास क्वारंटाइन सेंटर में खाना-नाश्ता को लेकर जो हंगामा चल रहा है, उसके पीछे बड़ा खेल है। सूत्रों की मानें तो पहले वाला ठेकेदार 370 रुपए प्रति व्यक्ति थाली के हिसाब से रेट वसूलता था। मनपा आयुक्त तुकाराम मुंढे ने उसे हटाकर 169 रुपए प्रति थाली के हिसाब से नया ठेका दिया। इसी के बाद से विवाद शुरू हो गया। शनिवार को ठेकेदार बदला, रविवार को फिर नए ठेकेदार को काम दिया गया। पर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है।
सूत्रों ने बताया कि मौखिक आदेश पर कॉन्ट्रैक्टर ने समय पर खाना एमएलए हॉस्टल में पहुंचा दिया, लेकिन वहां खाना रिसीव करने वाला कोई नहीं था। ऐसे में काफी समय तक खाना गेट पर ही रखा रहा। कायदे में पीडब्ल्यूडी या राजस्व विभाग से किसी न किसी को वहां होना चाहिए था। मनपा वाले भी देरी से पहुंचे। फिर उसी शाम को खाने में इल्लियों की शिकायत आयी। इन शिकायतों के बाद नये कॉन्ट्रैक्टर को हटाकर फिर दूसरा कॉन्ट्रैक्टर नियुक्त किया गया। दूसरे कॉन्ट्रैक्टर के साथ भी सोमवार को यहीं हुआ। साफ है कि नए ठेकेदार का वहां के कर्मचारी ही सहयोग नहीं कर रहे हैं, ताकि बार-बार विवाद हो।
लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी
समय पर भोजन नहीं मिलने से लोग आक्रोषित हुए थे। बच्चों को भी दूध व बिस्कुट देने में देरी हुई। इस वजह से नाराजगी जताने लोग इकट्ठे हुए थे, जिन्हें बाद में अपने-अपने कमरे में भेज दिया गया। मनपा की तरफ से ठेकेदार बदल दिया गया है। भोजन आपूर्ति का काम अब दूसरे ठेकेदार को दिया गया है। लोग अब शांत हो गए हैं। सभी को अब समय पर चाय, नाश्ता, भोजन देने के निर्देश ठेकेदार को दिए गए हैं। लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
-शेखर घाडगे, उपविभागीय अधिकारी नागपुर
Created On :   12 May 2020 4:12 PM IST