नागपुर शहर को मिली 1000 करोड़ की सौगातें

Nagpur city got gifts worth 1000 crores
नागपुर शहर को मिली 1000 करोड़ की सौगातें
बजट नागपुर शहर को मिली 1000 करोड़ की सौगातें

डिजिटल डेस्क, नागपुर।  राज्य सरकार ने बजट में नागपुर व विदर्भ के लिए कुछ सौगातें दी हैं। नागपुर में बालासाहब ठाकरे गोरेवाड़ा प्राणी संग्रहालय में अफ्रीकन सफारी के लिए 100 करोड़ रुपए मंजूर िकए गए हैं। उत्तर नागपुर में 600 बेड के अस्पताल के लिए 900 करोड़ रुपए व लक्ष्मी नारायण इंस्टीट्यूट के लिए 10 करोड़ रुपए दिए गए हैं। इसके अलावा नागपुर में स्वतंत्रता आंदोलन से जुड़े इलाकों में अलग से हेरिटेज वॉक तैयार किया जाएगा व स्वतंत्रता आंदोलन से जुड़े महापुरुषों के अलावा समाज सुधारकों के बारे में युवा पीढ़ी को जानकारी दी जाएगी।  पशुधन विकास के लिए आधुनिक प्रयोगशाला का निर्माण किया जाएगा। उत्तर नागपुर में डॉ. बाबासाहब आंबेडकर वैद्यकीय शिक्षा व संशोधन संस्था के लिए 900 करोड़ रुपए का प्रावधान किया जाएगा। इस संस्था के माध्यम से विदर्भ के विद्यार्थियों को स्नातकोत्तर शिक्षा के लिए मौका मिलेगा। 

मंत्रियों का रखा ध्यान : बजट मंजूरी में लगता है मंत्रियों की मांगों का ध्यान रखा गया है। गोरेवाड़ा प्राणी संग्रहालय के विकास के लिए पर्यटन विकास मंत्री आदित्य ठाकरे प्रयास कर रहे हैं। इस संग्रहालय को शिवसेना ने बालासाहब ठाकरे नाम दिया है। अफ्रीकन सफारी के माध्यम से विदर्भ में पर्यटन विकास को बढ़ावा देने का प्रयास किया जा रहा है। गोसीखुर्द सिंचाई प्रकल्प में जलपर्यटन की भी घोषणा की गई है। उत्तर नागपुर में वैद्यकीय शिक्षा व संशोधन संस्था के लिए पालकमंत्री नितीन राऊत प्रयास करते रहे हैं। 900 करोड़ की निधि मिलने से इस संस्था के निर्माण कार्य को गति मिलेगी। पशुधन विकास के लिए पशुसंवर्धन मंत्री सुनील केदार ने कार्य योजना तैयार कर रखी है। गाय व बकरियों की प्रजातियों में सुधार के लिए वे विशेष योजना पर भी विचार करते रहते हैं। रामटेक क्षेत्र में पशु प्रजनन के अलावा पशुपालन कार्य के िलए सेंटर शुरू करने का प्रयास करते रहे हैं। उन्हीं के प्रयासों से प्रयोगशाला को मंजूरी मिली है। 

10 करोड़ रुपए से यूनिवर्सिटी खुश नहीं
लक्ष्मीनारायण इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एलआईटी) के विकास कार्यों के लिए मिले 10 करोड़ रुपए से नागपुर विवि प्रशासन खुश नहीं है। एलआईटी के पूर्व विद्यार्थी संगठन की ओर से विकास कार्यों के लिए राज्य सरकार से 50 करोड़ की मांग की गई थी। नागपुर विवि ने सरकार को इस संबंध में प्रस्ताव भेजा था। शुक्रवार को हुई सीनेट की बैठक में सदस्य स्मिता वंजारी ने राज्य सरकार के लिए अभिनंदन प्रस्ताव पेश किया, जिसके बाद कुलगुरु डॉ. सुभाष चौधरी ने कम निधि मिलने की बात स्वीकार की। एलआईटी मध्य भारत की प्रसिद्ध शिक्षण संस्थाओं में से एक है। कुछ वर्ष से सरकारी अनदेखी के चलते संस्थान का विकास नहीं हो पाया, जिसके बाद पूर्व विद्यार्थी संगठन ने संस्थान के विकास की कवायद शुरू की। संस्थान के संचालक डॉ. राजू मानकर ने भरोसा जताया है कि इस सरकारी निधि से संस्थान का विकास होगा। संस्थान में रिसर्च लैब, पायलट प्रोजेक्ट, खेल सुविधाएं, लाइब्रेरी का विकास, नया गर्ल्स हॉस्टल आदि कई विकासकार्यों की योजना है।

Created On :   12 March 2022 3:11 PM IST

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