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गुणवत्ता से समझौता नहीं : जयंत मलैया

डिजिटल डेस्क,कटनी। निर्माण कार्य में गुणवत्ता से समझौता नहीं किया जाएगा और काम समस सीमा में पूरा होना चाहिए। ये कहना है कि जिले के प्रभारी मंत्री एवं प्रदेश सरकार के वित्त एवं वाणिज्य कर मंत्री जयंत मलैया का।
दरअसल जियोस की मीटिंग में मंत्री जयंत मलैया ने ठेकेदारों को कड़ी हिदायत दी। उन्होंने वर्किंग डिपार्टमेन्ट्स के अधिकारियों को गुणवत्ता और टाइम लिमिट में कोई भी कम्प्रोमाईज ना करने की दो-टूक आदेश दिए। कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बैठक में प्रभारी मंत्री मलैया ने राजस्व विभाग, जिला पंचायत, नगर निगम, प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना, एमपीआरडीसी, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, कृषि विभाग, लोक निर्माण विभाग और एमपीईबी की अलग-अलग समीक्षा की।
ऐसा करो व्यवहार की दर्द कम हो जाए
मंत्री मलैया ने कहा कि अस्पताल में मरीजों से ऐसा व्यवहार करो कि उनका दर्द कम हो जाए। मरीजों के उपचार में डॉक्टर संवेदनशीलता बरतें। शनिवार को औचक निरीक्षण पर जिला अस्पताल पहुंचे प्रभारी मंत्री ने कहा कि ऐसी व्यवस्थाएं हमेशा होना चाहिए। कोई वीआईपी पहुंचे या नहीं मरीजों को तत्काल स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया होनी चाहिए। उन्होंने निरीक्षण के दौरान जिला चिकित्सालय में पदस्थ डॉक्टर्स को मुस्तैदी के साथ स्वास्थ्य सेवाएं देने की बात कही। विजिट के दौरान प्रभारी मंत्री ने आकस्मिक चिकित्सा कक्ष, बर्न यूनिट, नर्सिंग स्टेशन, पुरुष सर्जिकल वॉर्ड, डायलिसिस यूनिट, रसोई घर, ब्लड बैंक सहित जिला चिकित्सालय परिसर में निर्माणाधीन भवन का जायजा लिया।
राजस्व विभाग की समीक्षा
राजस्व विभाग की समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने नामंतरण, बंटवारा सहित अन्य विभागीय सेवाओं के लिए लगाए जा रहे राजस्व शिविरों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रत्येक माह तीन दिन जिले की सभी तहसीलों में रिमोट एरिया में शिविर लगाए गए हैं। इस पर प्रभारी मंत्री ने सरकारी योजनाओं को अंतिम छोर में खड़े व्यक्ति तक पहुंचाने के निर्देश दिए हैं। उन्होने कहा कि पात्र हितग्राही को राजस्व विभाग की सेवाओं का लाभ सुगमता से मिले।
ठेकेदारों से रिश्ते नहीं निभाए अफसर
प्रभारी मंत्री ने अधीक्षण यंत्री एमपीईबी को फीडर सेपरेशन का कार्य जल्द ही पूरा कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इस काम में कार्य की गुणवत्ता से कोई भी समझौता ना हो, इसका ध्यान रखें। ठेकेदार के साथ दोस्ती न निभाएं, गुणवत्तापूर्ण काम कराएं। ध्यान रखें कि ऑफिस में बैठे-बैठे ही काम की मॉनीटरिंग ना हो जाए।
पीएचई की समीक्षा
पीएचई की समीक्षा करते हुए प्रभारी मंत्री ने कार्यपालन यंत्री को महज औपचारिकता का निर्वहन न करने की बात कही। उन्होंने कहा कि वॉटर सोर्स सबसे पहले ढूढें, फिर अगला काम करें। जिले में बंद 29 नलजल योजनाओं की सूची भी मुहैया कराने के निर्देश प्रभारी मंत्री ने दिए। मलैया ने कहा कि पानी का मुद्दा संवेदनशील मामला है। इसलिए गंभीरता से पेयजल संबंधी कार्य करें।
Created On :   30 July 2017 8:53 AM IST