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अब NIT संभालेगा गुंठेवारी के तहत भूखंड मंजूरी के सारे काम

डिजिटल डेस्क, नागपुर। गुंठेवारी के तहत ले-आउट व भूखंड मंजूरी के सभी काम नागपुर सुधार प्रन्यास के अधीन होंगे। नासुप्र के विश्वस्त मंडल की बैठक हुई। बैठक में गुंठेवारी अंतर्गत ले-आउट व भूखंड मंजूरी के सभी काम नासुप्र को देने का निर्णय लिया गया। गंुठेवारी के अंतर्गत बड़े प्रमाण में ले- आउट हैं। भूखंड मंजूरी के लिए नागरिकों को मनपा व नासुप्र के चक्कर काटने पड़ते हैं। मनपा में स्टाफ की कमी होने के कारण नागरिकों के भूखंड संबंधी काम लंबित रहते थे। अब इस मामले में राहत मिलेगी।
दो भाग में किया गया विभक्त
लिहाजा राज्य सरकार ने 9 अप्रैल को परिपत्रक जारी कर गुंठेवारी प्रकरण को दो भाग में विभक्त किया। नासुप्र की सात योजना के भाग के तहत गुंठेवारी के ले-आउट की मंजूरी की जवाबदारी पुन: नासुप्र को दी। मनपा के नगर विकास विभाग का भार कम हुआ। पूर्व नगरसेवक अरुण डवरे ने भूखंड मंजूरी की जिम्मेदारी पूरी तरह से नासुप्र को देने की मांग की थी। नासुप्र सभापति मनोज कुमार सूर्यवंशी को निवेदन सौंपा।
फडणवीस राज में बर्खास्तगी
नासुप्र को बर्खास्त करने का निर्णय देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व की राज्य सरकार ने लिया था। उसके कारण गुंठेवारी अंतर्गत मंजूरी के कुछ काम मनपा की ओर हस्तांतरित किए गए थे। लेकिन मनपा की उदासीनता व स्टाफ की कभी के कारण गुंठेवारी अंतर्गत ले-आउट, भूखंड मंजूरी की प्रक्रिया लंबित रह जाती थी। गृह निर्माण के लिए परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। मनपा के नगर विकास विभाग में कोरोनाकाल में भी भूखंड मंजूरी कार्य के लिए नागरिकों की आवाजाही लगी रहती थी। नागरिकों को विभाग के चक्कर काटने पड़ रहे थे। लेकिन मनपा का नगरविकास विभाग भूखंड मंजूरी के मामले में उदासीन था। नागरिकों में रोष था। मंजूरी के लिए भेदभाव किए जाने की शिकायतें भी मिल रही थीं।
Created On :   14 July 2021 11:37 AM IST