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पेंशनभोगी हो रहे परेशान, 6-6 महीने नहीं मिल रही पेंशन

डिजिटल डेस्क, नागपुर। सरकार की लेटलतीफी और अधिकारियों की लापरवाही के कारण विभिन्न योजनाओं के तहत मिलने वाली पेंशन से जीवन यापन करने वाले हजारों पेंशनभोगी परेशान हैं। 6-6 माह से पेंशन नहीं मिल रही, कुछ के नाम ही सूची से काट दिए गए हैं, कुछ को पुन: आवेदन करने के लिए कहा जा रहा है। लोग संबंधित कार्यालयों के चक्कर काट-काट कर थक गए हैं, लेकिन उन्हें पेंशन नहीं मिल रही है। संजय गांधी निराधार योजना, श्रावणबाल सेवा राज्य निवृत्ति वेतन योजना एवं इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वृद्धावस्था निवृत्ति वेतन योजना के तहत जिले में करीब 2 लाख (निराधार, बुजुर्ग, दिव्यांग, विधवा, तृतीयपंथी, गंभीर बीमारी से ग्रस्त) लोगों को राज्य व केंद्र शासन की ओर से प्रतिमाह 1 हजार रुपए पेंशन दिए जाते हैं।
वाठोड़ा निवासी 72 वर्षीय नामदेव बडोले लड़खड़ाती आवाज में बताते हैं कि उन्हें मार्च से पेंशन नहीं मिली है। पत्नी प्रेमलता बड़ोले (63) विकलांग है, बेटे की मौत हो गई। खाने के लाले पड़ गए हैं। जिलाधिकारी कार्यालय के चक्कर काट-काट कर थक गए हैं। पहले अधिकारियों ने यह कहकर लौटा दिया कि अगले माह पेंशन आ जाएगी, 6 माह बीत गए। अब कह रहे हैं कि पुन: आवेदन दो। श्री बडोले की ही तरह सैकड़ों निराधार बुजुर्ग, दिव्यांग, विधवा, तृतीयपंथी, बीमार आदि पेंशन खाते में जमा न होने से परेशान हैं। सूत्रों के अनुसार जिला प्रशासन के संबंधित विभाग द्वारा सैकड़ों लाभार्थियों को अपात्र करार दे दिया गया है। कुछ लोगों को पुन: आवेदन करने की सलाह दी गई है
तीन माह से नहीं मिली पेंशन : 76 वर्षीय रामराव बनकर के मुताबिक उन्हें 3 माह से पेंशन नहीं मिली है। अक्सर पेंशन जमा होने में विलंब होता है। कभी-कभी 6 माह तक पेंशन नहीं मिलती। ऐसे में पड़ोसियांे से मदद के सहारे दिन काटना पड़ता है। शिकायत इसलिए नहीं करते कि कहीं अधिकारियों के कोपभाजन का शिकार न होना पड़े और पेंशन हमेशा के लिए बंद न हो।
अधिकारी मनमानी कर रहे : उपराजधानी में हजारों लोगों की पेंशन रोक दी गई है। कुछ लाभार्थियों के पैसे आने के बावजूद अधिकारी इन पैसों का आवंटन नहीं कर रहे हैं। हमने इन पात्र लाभार्थियों काे पुन: पेंशन प्रदान करने की शासन से मांग की है। तत्संबंधी ज्ञापन संबंधित विभाग को दिया गया है। अधिकारियों की मनमानी की वजह से उक्त महत्वपूर्ण योजनाओं के क्रियान्वयन में बाधा उत्पन्न हो रही है।
-संजय बालपांडे, निगम पार्षद व संजय गांधी निराधार योजना समिति सदस्य
काट दिए नाम : सूत्राें के मुताबिक दलालों और अधिकारियों की मिलीभगत से अनेक अपात्र लोगों को उक्त याेजना में लाभार्थी नामित किया गया है। इस तरह के कुछ मामले उजागर होने के बाद प्रशासन ने कई फर्जी नामों के साथ पात्र नामों को भी सूची से हटा दिया, जिससे वे पेंशन पाने से वंचित हो गए हैं।
हजारों पेंशन से वंचित सूत्राें के मुताबिक संजय गांधी निराधार योजना के तहत करीब 10 हजार लाभार्थियों की पेंशन अक्टूबर 2020 से बंद है। आरोप है कि उक्त लाभार्थियों के दस्तावेजों की जांच किए बगैर व उन्हें सूचना दिए बगैर पेंशन बंद कर दी गई है, जिसके कारण पात्र लोगों को भी शासन की इस योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है।
Created On :   20 Aug 2021 3:31 PM IST