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राज्य उत्पादन शुल्क विभाग को मिला लॉकअप, आरोपियों को रखने नहीं ढूंढना पड़ेगा थाना

डिजिटल डेस्क, नागपुर। राज्य में सरकारी खजाने के लिए राजस्व जुटाने वाले विभागों में राज्य उत्पादन शुल्क विभाग का नाम सबसे आगे है। इसे विडम्बना ही कह लीजिए कि सबसे अधिक राजस्व जुटाने वाले इसी विभाग के पास अभी तक खुद का लॉकअप नहीं। चर्चा तो यहां तक है कि इस विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों ने लॉकअप नहीं होने की समस्या को कभी गंभीरता से लिया ही नहीं। इस समस्या को विभाग की तत्कालीन अधीक्षक स्वाति काकडे ने वरिष्ठ अधिकारियों के सामने रखा तब जाकर इसका अब निराकरण हो रहा है।
जब्त माल रखने की व्यवस्था
आरोपी के पकड़े जाने पर पुलिस थाने के लॉकअप की तलाश कर उसमें रखा जाता था। अब यह समस्या दूर हो चली है। कॉटन मार्केट चौक के पास तैयार हो चुकी चार मंजिला इमारत में महिला और पुरुष लॉकअप बनकर तैयार है। इसके साथ ही जब्ती के माल को रखने के लिए पर्याप्त गोदाम जैसी व्यवस्था भी यहां पर की गई है। महिला और पुरुष लॉकअप में 15 से अधिक आरोपियों को रखा जा सकता है। सूत्रों के अनुसार राज्य उत्पादन शुल्क विभाग की इस नई इमारत में निधि के अभाव में फर्नीचर का कार्य रुक गया था। अब करीब 1 करोड़ रुपए की निधि मिलने से आगामी करीब 3-4 माह में इस इमारत में विभाग के अधिकारी- कर्मचारी जा सकेंगे। इस इमारत के निर्माण के लिए करीब 25 करोड़ रुपए की निधि मंजूर की गई थी। फर्नीचर का कार्य भी जल्द शुरू किया जाएगा।
स्टॉफ की कमी से अभी भी जूझ रहा विभाग
इस विभाग से जुड़े सूत्रों ने बताया कि राज्य उत्पादन शुल्क विभाग के तहत नागपुर जिले में ए, बी, सी, डी, ई, एफ समेत 6 दस्ते कार्यरत हैं। इन दस्तों के अंतर्गत 12 अलग सहयोगी दस्ते बनाए गए हैं। एक दस्ते के पास 3 से 4 पुलिस थानांतर्गत कार्रवाई करने की जिम्मेदारी है। चौंकाने वाली जानकारी यह है कि इन दस्तों के पास 20 से 25 कर्मचारी हैं और कार्यक्षेत्र का दायरा काफी बड़ा है। एक दस्ते के पास एक पुलिस निरीक्षक, 2 उपनिरीक्षक, 3 सिपाही और 1 ड्राइवर है। यही स्थिति अन्य दस्ते की है। जिम्मेदारियां बढ़ती जा रही हैं, पर दस्तों के स्टॉफ की कमी को पूरा करने की कोशिश भी नहीं की जा रही है।
कार्य की जांच होगी
राज्य उत्पादन शुल्क विभाग के अधीक्षक प्रमोद सोनोने ने कहा कि, जल्द ही नई इमारत के बारे में नए तरीके से जांच होगी। उसके बाद ही इस मामले में कुछ सही तरीके से बता पाऊंगा। शायद जल्द ही इस इमारत में विभाग का कार्यालय जिलाधीश कार्यालय से स्थानांतरित हो जाएगा। हां, यह बात सही है कि इस नई इमारत में दो लॉकअप रूम बनाए गए हैं।
Created On :   31 Jan 2019 1:13 PM IST