किरायेदारों ने फंसाया पेंच, मांग रहे मुआवजा

Tenants screwed up, demanding compensation
किरायेदारों ने फंसाया पेंच, मांग रहे मुआवजा
पुराना भंडारा रोड चौड़ीकरण का मामला फिर अटका किरायेदारों ने फंसाया पेंच, मांग रहे मुआवजा

डिजिटल डेस्क, नागपुर। पुराना भंडारा रोड के चौड़ीकरण का मामला किरायेदारों की वजह से अटक गया है। मुआवजे के लिए आवेदन की अंतिम तिथि सोमवार 20 मार्च-2023 को करीब 15 लोगों द्वारा मनपा में आवेदन पेश किए गए। यहां 587 गृह संपत्ति को अधिगृहीत करने के बाद ही पुराना भंडारा रोड का चौड़ीकरण किया जा सकता है। इनमें से करीब 117 संपत्ति नासुप्र, मनपा, नजूल विभाग व सरकार की है। 41 संपत्ति धारकों को पहले ही मुआवजा दिया जा चुका है। इसके अलावा करीब 70 संपत्ति धारकों ने मुआवजे के लिए आवेदन किए थे, जिनका निपटारा कर दिया गया। इस प्रकार करीब 228 संपत्ति निर्विवाद रूप से मनपा के अधिकार में है। शेष 359 संपत्ति धारक मुआवजा लेकर अपनी संपत्ति मनपा के सुपुर्द करने की तैयार कर चुके हैं, लेकिन इनमें से करीब 200 संपत्ति पर किरायेदारों का कब्जा है। यह किरायेदार अब मकान खाली करने के लिए मुअावजे की मांग कर रहे हैं। मनपा ने स्पष्ट कर दिया कि यह मामला संपत्तिधारक व किरायेदारों के बीच का है, इसलिए किरायेदारों को मुआवजा नहीं मिलेगा। साथ ही मनपा ने शर्त रखी है कि जब तक किरायेदार मकान खाली नहीं करेेंगे, तब तक संपत्तिधारकों को भी मुआवजा नहीं दिया जाएगा। 

मिल चुकी हैं दो किस्तें
मनपा 81 करोड़ जुटाएगी, जबकि 129 करोड़ रुपए राज्य सरकार से मांगे गए हैं। इस मांग को संज्ञान में लेते हुए राज्य सरकार द्वारा पहली किस्त 23.09 करोड़ व दूसरी किस्त 43 करोड़ रुपए उपलब्ध कराए। पहली किस्त की रकम से 41 लोगों को मुआवजा दिया गया। 429 इमारतों के मालिकों से मुआवजे के लिए आवेदन पेश करने का आह्वान किया गया। सूत्रों के मुताबिक इनमें से  अब तक करीब 229 लोगों ने आवेदन किए, जबकि 200 इमारतों में किरायेदार होने की वजह से आवेदन ही पेश नहीं किए गए हैं।

23 साल से नहीं बन पा रही सड़क
 7 जनवरी 2000 को मंजूर 45 डीपी रोड में से 44 बनकर तैयार हो गए। अटका है एकमात्र पुराना भंडारा रोड।  सड़क व परिवहन मंत्री नितीन गडकरी ने इस रोड को तैयार करने के लिए 100 करोड़ का फंड उपलब्ध कराया। मेयो अस्पताल चौक से सुनील होटल चौक तक करीब 2500 मीटर लंबी व 18 फीट चौड़ी सड़क बनाने के लिए राह का रोड़ा 587 इमारतें हैं।  इनमें से 470 निजी इमारतें हैं जबकि 11 भूखंड मनपा के, 92 भूखंड राज्य सरकार के व 14 भूखंड नासुप्र के हैं। निजी 470 इमारतों के मालिकों से उनकी जमीन अधिगृहीत करने के लिए 210 करोड़ रुपए मुआवजा देना है। 


 

Created On :   21 March 2023 1:06 PM IST

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