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कृषि कानून पर ‘वो’ ट्वीट भारत विरोधी साजिश का हिस्सा : फडणवीस

डिजिटल डेस्क, नागपुर। पूर्व मुख्यमंत्री व विधानसभा में विरोधी पक्षनेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि, प्रमुख हस्तियों और कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन करने वाले कार्यकर्ताओं द्वारा किए गए ट्वीट भारत की छवि को खराब करने के लिए अंतरराष्ट्रीय साजिश का हिस्सा हैं। उन्होंने कहा कि, कुछ ट्वीट्स ने भारत में अशांति और अराजकता पैदा करने के उद्देश्य से की गई साजिशों का पर्दाफाश किया। गुरुवार को नागपुर में मीडिया कर्मियों के साथ बातचीत करते हुए, वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा कि, कुछ बाहरी तत्व भारत में स्थिरता नहीं चाहते थे। विपक्षी दलों के सांसदों को किसान आंदोलन में जाने से रोकने के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि, उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।
पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी के बारे में फड़णवीस ने कहा कि, अगर महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महाविकास अघाड़ी (एमवीए) गठबंधन का नेतृत्व कर रही शिवसेना नागरिकों को राहत देना चाहती थी, तो वह राज्य करों को कम करके ऐसा कर सकती थी। हमने पूर्व की भाजपा गठबंधन सरकार में नागरिकों को 2 रुपये प्रति लीटर की राहत दी थी। राज्य करों को कम कर दिया था। इसका असर राज्य के राजस्व पर नहीं पड़ा था। यदि राज्य सरकार की इच्छाशक्ति है तो वह कर सकती है। शिवसेना को यह नौटंकी बंद करनी चाहिए। फडणवीस ने शरजील उस्मानी मामले में सरकार की भूमिका पर सवाल उठाए।
उन्होंने कहा कि, डोजियर सरकार के पास उपलब्ध थे। एल्गार परिषद को समाज को विभाजित करने और हिंदुओं के खिलाफ जहर फैलाने के एजेंडे के लिए जाना जाता है। फिर भी सरकार ने इस आयोजन की अनुमति दी। अगर शिवसेना के मुखपत्र सामना में अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए धन संग्रह अभियान पर एक संपादकीय लिखी जा सकती है, तो वह हिंदुत्व के खिलाफ शरजील उस्मानी की टिप्पणियों पर कोई संपादकीय क्यों नहीं लिख सकती है। शिवसेना को बताना चाहिए कि उसने हिंदुत्व क्यों छोड़ा है?
अपराध रोकने सरकार असफल
सरकार द्वारा 78 लाख बिजली उपभोक्ताओं को आपूर्ति बंद करने का नोटिस जारी करने पर फडणवीस ने इसकी निंदा करते हुए कहा कि, हम किसान और नागरिकों के साथ हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि, राज्य सरकार गुटखे पर प्रतिबंध को प्रभावी ढंग से लागू नहीं कर पाई है। यह चंद्रपुर में शराब व्यापार पर अंकुश लगाने में विफल रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि, पूरे महाराष्ट्र में अवैध व्यापार फल-फूल रहा था और एमवीए सरकार इसमें शामिल लोगों को बचा रही थी।
Created On :   5 Feb 2021 3:29 PM IST