शेड में व्यापारियों का राज किसानों का भीग रहा अनाज  

the secret of the traders in the shed, the grain of the farmers was soaked
शेड में व्यापारियों का राज किसानों का भीग रहा अनाज  
आक्रोश शेड में व्यापारियों का राज किसानों का भीग रहा अनाज  

डिजिटल डेस्क, अमरावती। मानसून की पहली दमदार बारिश से अमरावती कृषि उपज मंडी में खुले में रखे किसानों के अनाज के बोरे बड़ी संख्या में  गीले हो गए। इससे नुकसानग्रस्त किसानों को तत्काल मुआवजा देने की मांग के लिए सोमवार को सर्वदलीय युवा किसानों ने कृषि उपज मंडी में पहुंचकर जोरदार हंगामा किया। हैरानी की बात यह है कि यहां पता चला कि किसानों के लिए बनाए गए शेड में व्यापारियों ने कब्जा कर रखा है। शनिवार की बारिश में किसानों के हजारों बोरे अनाज गीले होने के बाद भी तीसरे दिन भी खुले में ही पड़ा था। यह देख आंदोलनकारी किसान कृषि उपज मंडी के प्रशासक राजेश लव्हेकर पर बरस पड़े और किसानों के गीले हुए अनाज का पंचनामा कर 15 दिन में उन्हें मुआवजा देने का अल्टीमेटम दिया। 9 जुलाई तक किसानों को मुआवजा न देने पर दूसरे दिन आंदोलन और अधिक तीव्र करने की चेतावनी किसानों ने एपीएमसी के प्रशासन को दी।

अमरावती कृषि उपज मंडी जिले की सबसे बड़ी कृषि उपज मंडी है। यह 26 एकड़ परिसर में फैली है। जिसमें किसानों के अनाज को खराब होने से बचाने के लिए 70 हजार वर्ग फीट जगह में एक शेड और 57 हजार वर्ग फीट जगह में टीएमसी का शेड बनाया गया है। एपीएमसी ने यह शेड भले ही किसानों के लिए बनाया हो लेकिन उस पर फिलहाल व्यापारियों का कब्जा है। सोमवार को जब किसान संगठन के नेता एपीएमसी पहुंचे तो यह बात सामने आई कि किसानों के लिए बनाए गए शेड में व्यापारियों का अनाज था और किसानोंं का भीगा हुआ अनाज तीसरे दिन भी खुले में पड़ा था। यह देख किसान संगठन के नेता और संतप्त हो गए। इस समय सोपान गुडधे, शेखर औगड, उमेश महिंगे, सुधीर बोबडे, समीर जवंजाल, अनिकेत जावरकर, विजय मंडाले, विकास देशमुख, प्रवीण मोहोड़, किरण महल्ले, दिनकर सुंदरकर, अमोल भारसाकले, अक्षय साबले, सत्यजीत राठोड़, उमेश वाकोडे, संकेत भुगुल, अजिंक्य वानखडे, योगेश देशमुख, श्याम गवली, यशवंत गुडधे, राजेंद्र तायडे, रणजीत तिडके, रणजीत हाडे, अनूप सहारे आदि उपस्थित थे।
 

Created On :   21 Jun 2022 3:54 PM IST

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